Dainik Jagran
Bihar Road Project: 365 दिनों में 5400 KM सड़क बनाने का टारगेट, नीतीश सरकार ने कर दिया एलान
राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार विधानसभा (Bihar Assembly) में शुक्रवार को राष्ट्रगान को लेकर उत्पन्न गतिरोध, विपक्षी सदस्यों के आसन के सामने शोरशराबे के बीच ग्रामीण कार्य विभाग समेत 11 विभागों का बजट पारित हो गया। सदन को यह भी बताया गया कि 2025-26 में मुख्यमंत्री ग्राम संपर्क योजना के तहत 6 हजार करोड़ की लागत से 2500 बसावटों में तक कुल 5400KM रोड बनाने की तैयारी है।
इससे पहले, ग्रामीण कार्य मंत्री अशोक चौधरी ने सदन को बताया कि बिहार में 2005 के पूर्व ग्रामीण संपर्कता की स्थिति अत्यंत भयावह थी। तत्कालीन सरकार ने कोई काम नहीं किया था। इस कारण ही बिहार आर्थिक पिछड़ेपन का शिकार हुआ।
उन्होंने कहा कि वर्ष 2005 में जहां आठ हजार किलोमीटर (किमी) ग्रामीण सड़कें थी, वर्तमान में एक लाख 17 हजार 913 किमी हो गई है। नीतीश सरकार ने तेजी से ग्रामीण सड़कों का निर्माण किया। बिहार की सड़कों में 83 प्रतिशत भाग ग्रामीण कार्य विभाग ने बनाया है।
मंत्री ने भोजनावकाश के उपरांत विभागवार बजट पर वार-विवाद के दौरान सदन को सरकार की उपलब्धियों से अवगत कराया।
सरकार की ओर से उत्तर देते हुए ग्रामीण कार्य मंत्री ने कहा कि अभी ग्रामीण सड़क सुदृढ़ीकरण एवं प्रबंधन कार्यक्रम के तहत मरम्मत अवधि से बाहर 13 हजार 452 सड़कों जिसकी लंबाई 23 हजार 541 किमी है, इसकी प्रशासनिक स्वीकृति दी गई है। इस मद में 20 हजार 626 करोड़ खर्च होने हैं।
अगले तीन महीने यानी जून तक इन सड़कों को पॉटलेस (गड्ढामुक्त) कर दिया जाएगा। वित्तीय वर्ष 2025-26 तक इसके सरफेस लेयर का काम पूरा कर लिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि जब पीएम ग्रामीण सड़क योजना लागू हुई तो बिहार में आरईओ उसे लागू करने में अक्षम था। इस कारण पीएमजीएसवाई का क्रियान्वयन केंद्रीय एजेंसियों ने किया। ग्रामीण कार्य विभाग का गठन होने के बाद गांवों में तेजी से सड़कों का निर्माण हुआ।
'7518 KM सड़कों का निर्माण कार्य प्रगति पर...'मंत्री ने कहा कि फरवरी 2025 तक राज्य सरकार ने अपने संसाधनों से 36 हजार 612 करोड़ खर्च कर 64 हजार 345 किलोमीटर सड़क और 946 पुलों का निर्माण किया। पीएमजीएसवाई से 34 हजार 227 करोड़ खर्च कर 53 हजार 568 किलोमीटर सड़क और 1387 पुल बनाए गए, जबकि 17 हजार 346 करोड़ खर्च कर 48 हजार 618 किमी सड़कों का नवीकरण हुआ। अभी 7518 किमी सड़कों का निर्माण कार्य प्रगति में है।
मरम्मत अवधि से बाहर हुई 31 हजार 31 किमी सड़कों का नवीनीकरण हो रहा है। मुख्यमंत्री सेतु योजना के तहत तीन हजार करोड़ से 700 पुलों के निर्माण का लक्ष्य रखा गया है। अब तक 14 पुलों की प्रशासनिक स्वीकृति दे दी गई है।
अंत में विपक्ष के विरोध को देखते हुए विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने भवन निर्माण, नगर विकास एवं आवास विभाग, खान एवं भूतत्व विभाग, परिवहन विभाग, शिक्षा विभाग संसदीय कार्य विभाग, विज्ञान प्रावैद्यिकी एवं तकनीकी शिक्षा विभाग के अतिरिक्त श्रम संसाधन विभाग के मंत्रियों को सदन के पटल पर रखने का नियमन दिया। इसके साथ ही ध्वनी मत से संबंधित विभागों का बजट पारित हो गया।
ये भी पढ़ें- Bihar: मुंगेर-बांका समेत 5 जिलों की हो गई चांदी! 462 एकड़ जमीन को लेकर सरकार ने जारी किया नोटिफिकेशन
ये भी पढ़ें- भागलपुर-मुंगेर से झारखंड जाने वाली सड़कों के फोरलेन प्रोजेक्ट में अड़चन, मंत्रालय ने लौटाया DPR
Patna News: बुरे फंसे पटना के 2 फेमस बिल्डर, अब संपत्ति होगी जब्त; 3 अन्य बिल्डरों पर भी कार्रवाई
राज्य ब्यूरो, पटना। Patna News: पटना की दो रियल एस्टेट कंपनी पर शिकंजा कस गया है। भू-सम्पदा विनियामक प्राधिकरण (रेरा), बिहार ने गृहवाटिका होम्स और घर लक्ष्मी बिल्डकान की संपत्तियों को जब्त करने का आदेश दिया है। रेरा बिहार के आदेश का पालन न करने और पीड़ित आवंटियों को पैसा नहीं लौटने के कारण प्राधिकरण के अध्यक्ष विवेक कुमार सिंह की एकल पीठ ने यह आदेश जारी किया है।
प्राधिकरण अब इन जब्त संपत्तियों की नीलामी करेगा और इससे प्राप्त राशि से आवंटियों के पैसे लौटाए जाएंगे। इन दोनों बिल्डरों के विरुद्ध पांच अन्य मामलों में गिरफ्तारी वारंट भी जारी करने का आदेश हुआ है। इसके साथ निबंधन महानिरीक्षक को यह निर्देश दिया गया कि इन दोनों बिल्डरों की कंपनियों और इनके निदेशकों की किसी भी संपत्ति का निबंधन न करने दी जाए।
गृह वाटिका के विरुद्ध यह निर्णय ब्रजकिशोर सिंह की ओर से दायर निष्पादनवाद में लिया गया जबकि घर लक्ष्मी के मामले में माधुरी तिवारी की ओर से निष्पादनवाद दायर किया गया था। रेरा अध्यक्ष के एकल पीठ ने तीन स्वप्रेरित (सु-मोटो) के मामलों में भी आदेश पारित किया है।
एकल पीठ ने संकल्प इंजीकान के विरुद्ध आदेश पारित करते हुए आइजी निबंधन को यह निर्देश दिया कि कंपनी एवं उनके निदेशकों द्वारा किसी भी संपत्ति के निबंधन पर रोक रहेगी।
एकल पीठ ने श्रीया कंस्ट्रक्शन एवं टाइमलेस इंफ्रास्ट्रक्चर पर एक-एक लाख रुपये का जुर्माना लगाया तथा उन्हें निर्देश दिया की जुर्माने की राशि 60 दिनों के अंदर जमा कर दें। इन तीनों कंपनियों पर आरोप है कि इन्होंने रेरा अधिनियम का उल्लंघन कर बगैर निबंधन कराए परियोजना का प्रचार-प्रसार किया है।
ये भी पढ़ें
Chhapra News: छपरा को ट्रैफिक जाम से मिल जाएगी मुक्ति, रेलवे ने बना लिया धांसू प्लान
Buxar News: बक्सर के लिए खुशखबरी, यहां बनने जा रही 7 किलोमीटर की सड़क; परेशानी होगी दूर
Bihar: रिटायर्ड IAS अफसर शिवशंकर वर्मा को पटना HC से झटका, CM नीतीश से जुड़ा है मामला
विधि संवाददाता, पटना। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) को प्रतिवादी बनाने और नोटिस जारी करने की मांग को लेकर दायर याचिका में सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी शिवशंकर वर्मा (Retired IAS Shiv Shankar Verma) को पटना हाई कोर्ट (Patna High Court) से कोई राहत नहीं मिली।
न्यायाधीश पीबी. बजनथ्री और न्यायाधीश आलोक कुमार सिन्हा की खंडपीठ ने सुनवाई के बाद वर्मा की याचिका को निरस्त कर दिया। हालांकि, हाई कोर्ट ने 50 हजार रुपये के हर्जाने को घटाकर 10 हजार रुपये कर दिया, जिसे मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा कराने का निर्देश दिया गया है।
शिवशंकर वर्मा के विरुद्ध 2007 में आय से अधिक संपत्ति का मामला दर्ज किया गया था। उस दौरान उनके आवास से सोने के बिस्किट, सोने की छड़ें और भारी मात्रा में नकदी बरामद हुई थी। जांच के बाद उनके विरुद्ध आपराधिक मामला दर्ज हुआ और विभागीय जांच के बाद उन्हेंं सेवा से बर्खास्त कर दिया गया।
कैट ने किया था आवेदन निरस्त:बर्खास्तगी के विरुद्ध वर्मा ने केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (कैट) की पटना पीठ में याचिका दायर की, जो अभी लंबित है। इसी मामले में उन्होंने एक आवेदन देकर मुख्यमंत्री को प्रतिवादी बनाने और नोटिस जारी करने का अनुरोध किया। हालांकि, कैट ने उनके आवेदन को 50 हजार रुपये हर्जाने के साथ निरस्त कर दिया।
वर्मा ने इस आदेश को हाई कोर्ट में चुनौती दी और स्वयं बहस करते हुए कैट के निर्णय को रद करने और मुख्यमंत्री को प्रतिवादी बनाने की मांग की।
ये भी पढ़ें- BPSC 70th Exam Row: 70वीं बीपीएससी पीटी परीक्षा रद करने की याचिकाओं पर सुनवाई पूरी, आदेश सुरक्षित
'मुख्यमंत्री को प्रतिवादी बनान गलत और निराधार'महाधिवक्ता पीके. शाही ने कोर्ट में याचिका का विरोध करते हुए कहा कि वर्मा को कानूनी प्रक्रिया के अंतर्गत ही सेवा से बर्खास्त किया गया था। उन्होंने तर्क दिया कि मुख्यमंत्री को इस मामले में प्रतिवादी बनाना तथ्यात्मक रूप से गलत और निराधार है।
केंद्र सरकार की ओर से अधिवक्ता अवधेश कुमार पांडेय ने भी कैट के निर्णय को उचित ठहराते हुए हाई कोर्ट से वर्मा की याचिका निरस्त करने की मांग की। हाई कोर्ट ने मुख्यमंत्री को प्रतिवादी बनाने की मांग को पूरी तरह निराधार माना और वर्मा को कोई राहत नहीं दी।
ये भी पढ़ें- नीतीश सरकार को सुप्रीम कोर्ट से झटका, नगर निकायों के प्रशासनिक अधिकार में हस्तक्षेप पर रोक बरकरार
ये भी पढ़ें- Bihar Teacher News: गोपालगंज में 33 शिक्षकों पर गिरी गाज, पटना हाई कोर्ट के आदेश पर होगी सेवा समाप्त
Kisan Credit Card: किसानों को 0% ब्याज पर मिलेगा केसीसी का लाभ, जल्द अंतिम फैसला लेगी नीतीश सरकार
राज्य ब्यूरो, पटना। नए वित्तीय वर्ष 2025-26 में राज्य के किसानों को शून्य ब्याज प्रतिशत पर केसीसी (Kisan Credit Card) का लाभ मिलेगा। इसके लिए सहकारिता विभाग की ओर से प्रस्ताव के मसौदा को अंतिम रूप दिया गया है और इस पर जल्द ही सरकार के स्तर पर निर्णय लिया जाएगा।
इससे संबंधित प्रस्ताव पर मंत्रिमंडल की मंजूरी भी ली जाएगी। सहकारिता मंत्री डॉ. प्रेम कुमार ने शुक्रवार को कहा कि आने वाले समय में पैक्सों के सामने जो भी चुनौतियां है, उसे व्यापार मंडल के सामने समाधान करेंगे। किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड का लाभ शून्य ब्याज पर देने का फैसला जल्द लिया जाएगा।
सिंचाई की 1307 योजनाएं पूरी, 5.80 लाख हेक्टयर तक पहुंच रहा पानी'हर खेत तक सिंचाई का पानी' कार्यक्रम के अंतर्गत संयुक्त तकनीकी सर्वेक्षण के माध्यम से जल संसाधन विभाग को 604 योजनाओं के कार्यान्वयन के जरिए लगभग 1.19 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने का लक्ष्य दिया गया था।
इसके विरुद्ध अब तक 597 योजनाओं को पूरा कर 1.18 लाख हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। शेष योजनाओं का कार्यान्वयन प्रगति पर है।
इन योजनाओं के अतिरिक्त 774 अन्य योजनाएं भी चयनित थीं। उनसे लगभग 5.46 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया। उनमें से अब तक 710 योजनाओं को पूर्ण कर 4.62 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। शेष योजनाओं का कार्यान्वयन प्रगति पर है।
इस तरह हर खेत तक पानी पहुंचाने के उद्देश्य से जल संसाधन विभाग द्वारा अब तक कुल 1307 योजनाओं का कार्यान्वयन कर 5.80 लाख हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराई जा चुकी है।
सहरसा को जलजमाव से मिलेगी निजात, स्टॉर्म वाटर ड्रेनेज योजना स्वीकृतदूसरी ओर, नगर विकास एवं आवास विभाग ने सहरसा नगर निगम क्षेत्र में जल-जमाव की समस्या से निपटने के लिए करीब 138 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले सहरसा स्टार्म वाटर ड्रेनेज योजना को स्वीकृति प्रदान की है। विभाग ने तत्काल दस करोड़ रुपये सहायक अनुदान के रूप में वित्त वर्ष 2024-25 में खर्च की स्वीकृति भी दे दी है।
योजना का कार्यान्वयन ई-टेंडरिंग के माध्यम से निविदा आमंत्रित कर बुडको द्वारा कराया जाएगा। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रगति यात्रा के दौरान सहरसा नगर निगम क्षेत्र में जल-जमाव की समस्या के समाधान के लिए स्टार्म वाटर ड्रेनेज योजना की घोषणा की गई थी।
विभागीय मंत्री जिवेश कुमार ने कहा कि सहरसा शहर के पुराने नाले जर्जर हो चुके हैं। इस समस्या को दूर करने के लिए तत्काल दस करोड़ रुपये सहायक अनुदान के रूप में व्यय करने की स्वीकृति दी जा रही है। सात निश्चय योजना पार्ट-2 के अन्तर्गत शहरों मे जमे बारिश के गंदे पानी की समस्या को दूर करने के लिए सरकार ने विस्तृत योजना तैयार की है और इसे जनीन पर उतारने के लिए राशि स्वीकृत की जा रही है।
पीएमआरसीएल ने आईएएस अधिकारियों के लिए आयोजित किया इंडक्शन प्रशिक्षण कार्यक्रमपटना मेट्रो रेल कॉरपोरेशनल लिमिटेड (पीएमआरसीएल) ने मसूरी से आए भारतीय प्रशासनिक सेवा के पदाधिकारियों के लिए एक विशेष इंडक्शन प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य पदाधिकारियों को मेट्रो रेल परियोजना की कार्यप्रणाली, सुरक्षा मानकों, भू कंपन, पुनर्वास एवं पुनर्स्थापन और नवीनतम तकनीकों की जानकारी प्रदान करना था।
पीएमआरसीएल के महाप्रबंधक (संपत्ति विकास) विकाश रंजन ने मेट्रो परिचालन और प्रबंधन के विभिन्न पहलुओं पर गहन प्रशिक्षण दिया। भारतीय प्रशासनिक सेवा के कुल 19 पदाधिकारियों को पटना मेट्रो के निर्माणाधीन मोइनुल हक मेट्रो स्टेशन का परिभ्रमण भी कराया गया।
ये भी पढ़ें- Bihar: मुंगेर-बांका समेत 5 जिलों की हो गई चांदी! 462 एकड़ जमीन को लेकर सरकार ने जारी किया नोटिफिकेशन
ये भी पढ़ें- Bihar Bhumi: जमीन मालिकों के लिए राहत की खबर, सरकार ने बेहद आसान कर दिया रजिस्ट्री का काम
नीतीश सरकार को सुप्रीम कोर्ट से झटका, नगर निकायों के प्रशासनिक अधिकार में हस्तक्षेप पर रोक बरकरार
विधि संवाददाता, पटना। सुप्रीम कोर्ट ने स्थानीय निकायों के दैनिक कार्यों में राज्य सरकार (Bihar Government) के हस्तक्षेप नहीं करने के संबंध में पटना हाई कोर्ट द्वारा पारित आदेश के विरुद्ध राज्य सरकार की अपील पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है।
यह मामला डॉ. आशीष कुमार सिन्हा बनाम बिहार सरकार से जुड़ा है, जिसमें पटना हाई कोर्ट की खंडपीठ ने स्पष्ट रूप से कहा था कि कैडर की स्वायत्तता किसी भी संगठन की स्वायत्तता के लिए अनिवार्य है और राज्य सरकार को नगर निकायों के प्रशासनिक कार्यों में हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए।
तुषार मेहता ने की बिहार सरकार की पैरवीसुप्रीम कोर्ट में बिहार सरकार की ओर से भारत के सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पैरवी की। डॉ. आशीष की ओर से वरीय अधिवक्ता दामा शेषाद्रि नायडू, अधिवक्ता नितीश रंजन (एओआर) और अधिवक्ता मयूरी ने पक्ष रखा।
राज्य सरकार ने दलील दी कि नगर निकायों में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों की भारी संख्या में रिक्तियां हैं, जिससे उनके कामकाज पर असर पड़ रहा है। सरकार ने हाई कोर्ट के निर्णय पर स्थगनादेश देने की मांग की थी।
'राज्य सरकार केवल नियुक्तियों तक सीमित नहीं रहना चाहती...'डॉ. आशीष की ओर से दाखिल हलफनामे में यह बताया गया कि राज्य सरकार केवल नियुक्तियों तक सीमित नहीं रहना चाहती, बल्कि वह नगर निकायों के कर्मचारियों के तबादले, पदस्थापन और अनुशासनात्मक कार्रवाई का अधिकार भी अपने हाथ में लेना चाहती है। यह संविधान और संबंधित अधिनियम की भावना के विरुद्ध है।
पटना HC के अंतिरम निर्णय पर रोक लगाने से इनकारसुप्रीम कोर्ट ने 21 मार्च, 2025 को दिए गए आदेश में राज्य सरकार की याचिका को निरस्त कर दिया और हाई कोर्ट के निर्णय पर अंतरिम रोक लगाने से इनकार कर दिया ।
न्यायालय को यह भी बताया गया कि पटना नगर निगम के उप महापौर के लिपिक का स्थानांतरण कमिश्नर द्वारा कर दिया गया, जो इस बात का संकेत है कि अगर निर्वाचित प्रतिनिधियों के अधीनस्थ कर्मचारी उनके प्रशासनिक नियंत्रण में नहीं होंगे, तो वे निगम के कार्यों को प्रभावी ढंग से कैसे संचालित कर पाएंगे?
ये भी पढ़ें- Bihar Teacher News: गोपालगंज में 33 शिक्षकों पर गिरी गाज, पटना हाई कोर्ट के आदेश पर होगी सेवा समाप्त
ये भी पढ़ें- BPSC 70th Exam Row: 70वीं बीपीएससी पीटी परीक्षा रद करने की याचिकाओं पर सुनवाई पूरी, आदेश सुरक्षित
Bihar: मुंगेर-बांका समेत 5 जिलों की हो गई चांदी! 462 एकड़ जमीन को लेकर सरकार ने जारी किया नोटिफिकेशन
राज्य ब्यूरो, पटना। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने उद्योग विभाग को 462 एकड़ जमीन का हस्तांतरण कर दिया है। यह मुंगेर, नवादा, अरवल, रोहतास एवं बांका जिले में है। सबसे अधिक 200 एकड़ जमीन बांका जिले में दी गई है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपनी 'प्रगति यात्रा' के दौरान इन जिलों में उद्योगों के विकास की घोषणा की थी।
25 फरवरी को हुई राज्य कैबिनेट की बैठक (Nitish Cabinet Meeting) में उद्योग विभाग को जमीन हस्तांरित करने के प्रस्ताव को मंजूरी मिली थी। इस जमीन के लिए उद्योग विभाग को कोई भुगतान नहीं करना पड़ेगा। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग की ओर से हस्तांतरण की अधिसूचना जारी कर दी गई है।
विभाग की अधिसूचना के अनुसार-- मुंगेर जिला के संग्रामपुर अंचल के मौजा ददरी में परती किस्म की 20 एकड़ एवं मौजा-पतघाघर में गैरमजरूआ खास किस्म-की 30 एकड़ जमीन का हस्तांतरण उद्योग विभाग को किया गया है। इसमें औद्योगिक पार्क का विकास होगा।
- बांका जिले में उद्योग के प्रयोजन के लिए सबसे अधिक 200 एकड़ जमीन का हस्तांतरण किया गया है। कटोरिया अंचल के मौजा करझौंसा में 124.40 एकड़ एवं मौजा-सिरमोहडार, में 75.60 एकड़ जमीन दी गई है।
- अरवल जिला के अरवल अंचल के मौजा सोनवर्षा एवं मौजा कोरियम में क्रमशः 46.99 एकड़ एवं 18.96 एकड़ जमीन का हस्तांतरण किया गया है।
- रोहतास जिला के अंचल डिहरी के मौजा-भलुआड़ी 65 एकड़ जमीन का हस्तांतरण उद्योग विभाग को किया गया है।
- नवादा जिला के रजौली अंचल के के मौजा-भड़ा, में-71.67 एकड़ अनावाद बिहार सरकार एवं 9.68 एकड़ कुल 81.35 जमीन का हस्तांतरण किया गया है।
दूसरी ओर, आहर-पईन और तालाब आदि के जीर्णोद्धार की 16 योजनाओं को प्रशासनिक स्वीकृति दी गई है। नालंदा जिले में सिंचाई सुविधा के विकास के उद्देश्य से इन योजनाओं का क्रियान्वयन होना है। इन पर कुल 387 करोड़ 46 लाख 61 हजार रुपये खर्च होंगे और इनसे नालंदा के आठ प्रखंडों में 4785 हेक्टेयर परिक्षेत्र में सिंचाई सुविधा का सृजन होगा।
जल-जीवन-हरियाली अभियान के अंतर्गत ये वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए स्वीकृत योजनाएं हैं, जिनका क्रियान्वयन लघु जल संसाधन विभाग द्वारा होना है। जून 2025 तक काम पूरा कर लेने का लक्ष्य है। नालंदा जिला के नगरनौसा, बिहारशरीफ, कराय-परशुराय, बिंद, एकंगरसराय, हरनौत, नूरसराय और इस्लामपुर प्रखंड को इसका लाभ मिलेगा।
उल्लेखनीय है कि लघु जल संसाधन विभाग सतही सिंचाई योजना एवं भूजल सिंचाई योजना पर काम करता है। 2000 हेक्टेयर तक के कमांड क्षेत्र वाली योजनाएं ही इसके अधिकार क्षेत्र में आती हैं। अभी जल-जीवन-हरियाली और हर खेत तक सिंचाई का पानी कार्यक्रम के अंतर्गत सतही सिंचाई योजनाओं को प्राथमिकता दी जा रही है।
ये भी पढ़ें- Bihar Bhumi: जमीन मालिकों के लिए राहत की खबर, सरकार ने बेहद आसान कर दिया रजिस्ट्री का काम
ये भी पढ़ें- भागलपुर-मुंगेर से झारखंड जाने वाली सड़कों के फोरलेन प्रोजेक्ट में अड़चन, मंत्रालय ने लौटाया DPR
बिहार सरकार ने फिर उठाई विशेष राज्य के दर्जे की मांग, CM बोले- टैक्स में भी मिले 50% हिस्सा
राज्य ब्यूरो, पटना। विशेष राज्य के दर्जा के साथ बिहार ने 16वें वित्त आयोग से केंद्रीय करों में 50 प्रतिशत की हिस्सेदारी मांगी है। इसके साथ ही करों के बंटवारे में बहुआयामी गरीबी सूचकांक को भी एक मानक बनाने का आग्रह किया है।
गुरुवार को आयोग के अध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया ने बताया कि विशेष दर्जा वित्त आयोग के अधिकार क्षेत्र का विषय नहीं। वैसे भी योजना आयोग के दौरान ही ऐसी व्यवस्था का समापन हो चुका है।
उल्लेखनीय है कि 15वें वित्त आयोग ने कर हस्तांतरण की सीमा 41 प्रतिशत निर्धारित कर रखी है, जिसकी समय-सीमा वित्तीय वर्ष 2025-26 के साथ समाप्त हो जानी है। उसके बाद अगले पांच वित्तीय वर्ष के लिए 16वें वित्त आयोग की अनुशंसाएं प्रभावी होंगी।
बुधवार रात पटना पहुंची टीमपनगढ़िया के नेतृत्व में 12 सदस्यीय टीम कर बंटवारे के संदर्भ में बिहार की अपेक्षाओं और सुझावों से अवगत होने के लिए तीन दिवसीय दौरे पर बुधवार रात पटना पहुंची थी।
शुक्रवार को यह टीम मधुबनी में मिथिला हाट का अवलोकन करने के बाद वापस होगी। गुरुवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और वित्त विभाग का दायित्व संभाल रहे उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी के साथ इस टीम ने विचार-विमर्श किया।
उसी दौरान पनगढ़िया को मांग-पत्र सौंपा गया। उसके बाद प्रेस-वार्ता में पनगढ़िया ने बताया कि बिहार सरकार के साथ भौगोलिक और आर्थिक परिस्थिति से चर्चा शुरू हुई, जिसमें राजस्व के पहलू पर फोकस रहा।
केंद्रीय करों में 50 प्रतिशत हिस्सेदारी की मांगबिहार की तरह 15 अन्य राज्यों ने भी केंद्रीय करों में 50 प्रतिशत हिस्सेदारी की मांग की है। इसके साथ ही बिहार चाहता है कि सेस और सरचार्ज में भी बंटवारा हो।
हालांकि, इसके लिए संविधान में संशोधन की आवश्यकता होगी। दरअसल, आपात स्थिति और युद्ध-काल में व्यय के दृष्टिगत संविधान में यह प्रविधान है कि सेस और सरचार्ज पर पूर्णतया केंद्र का अधिकार होगा।
बिहार ने संसाधन हस्तांतरण के मानकों में थोड़ा-बहुत परिवर्तन का भी सुझाव दिया है। पंचायती राज संस्थानों और शहरी निकायों के साथ तत्काल वित्तीय सहायता की मांग की है।
हमें यकीन कि वित्त आयोग करेगा राज्य सरकार की बातों पर विचारमुख्यमंत्री नीतीश कुमार गुरुवार को मुख्यमंत्री सचिवालय स्थित संवाद कक्ष में 16वें वित्त आयोग के साथ हुई बैठक में शामिल हुए। इस मौके पर उन्होंने कहा कि हमें यह यकीन है कि वित्त आयोग राज्य सरकार के ज्ञापन में उठाए गए विषयों पर गंभीरता से विचार करेगा।
मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार द्वारा किए कार्यों की विस्तार से जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने 16 वें वित्त आयोग के अध्यक्ष डॉ. अरविंद पनगढ़िया सहित अन्य सदस्यों का अंगवस्त्र देकर स्वागत किया।
लगातार बढ़ रहा राज्य के बजट का आकारमुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के बजट का आकार लगातार बढ़ रहा है। वर्ष 2005 में राज्य का बजट मात्र 30 हजार करोड़ रुपये था। इसके बाद राज्य सरकार ने काफी काम किया, जिससे बजट के आकार में बढ़ोतरी हुई। इस वर्ष राज्य का बजट तीन लाख, 17 हजार करोड़ रुपये का हो गया है।
यह भी पढ़ें-
PM मोदी के बिहार दौरे से पहले BJP नेताओं की क्लास लेंगे अमित शाह, चुनाव को लेकर देंगे 'गुरुमंत्र'
'राष्ट्रगान के बीच में...', CM नीतीश के बचाव में आए पप्पू यादव, पूछा- क्या लालू जी से गलती नहीं हुई?
PM मोदी के बिहार दौरे से पहले BJP नेताओं की क्लास लेंगे अमित शाह, चुनाव को लेकर देंगे 'गुरुमंत्र'
राज्य ब्यूरो, पटना। Amit Shah Bihar Visit: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अप्रैल में प्रस्तावित बिहार यात्रा से पहले केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह 29 मार्च की शाम भाजपा प्रदेश मुख्यालय में पार्टी नेताओं को विधानसभा चुनाव तैयारियों का पाठ पढ़ाएंगे।
शाह ने दो दिवसीय बिहार यात्रा के पहले दिन रात्रि में भाजपा विधानमंडल दल की बैठक बुलाई है। इसमें पार्टी के विधायक, विधान पार्षद एवं सांसदों के साथ ही पार्टी पदाधिकारी सम्मिलित होेंगे।
इसके उपरांत शाह बिहार भाजपा कोर ग्रुप की बैठक भी लेंगे। इसमें बिहार भाजपा के केंद्रीय मंत्रियों के अतिरिक्त कोर ग्रुप के अन्य सदस्य भी उपस्थित रहेंगे।
गोपालगंज में जनसभा को करेंगे संबोधितवहीं, 30 मार्च को बापू सभागार में सहकारिता विभाग के कार्यक्रम एवं गोपालगंज में जनसभा को संबोधित करेंगे। इससे पहले 25 मार्च को रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव की भी बिहार यात्रा प्रस्तावित है।
भाजपा के चाणक्य की बिहार यात्रा को लेकर पार्टी ने तैयारियां शुरू कर दी है। अमित शाह की दो दिवसीय बिहार यात्रा की गुरुवार को विधान परिषद प्रांगण में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने पुष्टि की।
बिहार यात्रा के दौरान यह संभव है कि अमित शाह बिहार से जुड़े एनडीए के शीर्ष नेताओं के साथ भी मंत्रणा कर सकते हैं। संभव है कि इससे पहले प्रदेश संगठन से जुड़े कई अहम निर्णय को पार्टी नेतृत्व अंतिम रूप दे सकता है।
छह जिलों के जिला अध्यक्षों के नाम पर लग सकती है अंतिम मुहरइसमें प्रदेश पदाधिकारियों के नाम की घोषणा के साथ ही शेष छह जिलों के जिला अध्यक्षों के नाम पर अंतिम मुहर लग सकती है।
दरअसल, दिल्ली की जीत के उपरांत भाजपा के शीर्ष नेतृत्व की नजर बिहार विधानसभा चुनाव तैयारियों पर टिक गई है।
यह भी पढ़ें-
Bihar Election: अमित शाह ने संभाला बिहार चुनाव का मोर्चा, इस तारीख को हो सकती है प्रदेश में एंट्री
'राष्ट्रगान के बीच में...', CM नीतीश के बचाव में आए पप्पू यादव, पूछा- क्या लालू जी से गलती नहीं हुई?
'राष्ट्रगान के बीच में...', CM नीतीश के बचाव में आए पप्पू यादव, पूछा- क्या लालू जी से गलती नहीं हुई?
डिजिटल डेस्क, पटना/नई दिल्ली। बिहार में इस वक्त सीएम नीतीश कुमार (Nitish Kumar) को लेकर सियासी पारा हाई है। राजद ने नीतीश कुमार पर राष्ट्रगान का अपमान करने का आरोप लगाया है। तेजस्वी यादव ने तो यहां तक कह दिया कि नीतीश कुमार को पूरे देश से माफी मांगनी चाहिए। वहीं, अब पप्पू यादव (Pappu Yadav) नीतीश कुमार के बचाव में सामने आए हैं।
पूर्णिया लोकसभा सीट से निर्दलीय सांसद पप्पू यादव ने शुक्रवार को दिल्ली में कहा कि हम राजद के लोगों से पूछना चाहते हैं कि आखिर आपका इंटेशन क्या है? क्या किसी से भूल नहीं हो सकती? लालू यादव जी भूल नहीं करते हैं? क्या हर मुद्दे पर राजनीति करनी चाहिए? क्या इसके पहले नीतीश कुमार से भूल नहीं हुई?
पप्पू ने याद दिला दिए पुराने दिनपप्पू यादव ने राजद को पुराने दिनों की भी याद दिला दी, जब उसका जदयू के साथ गठबंधन था। पप्पू यादव ने कहा कि जब वो आपके साथ सदन में थे, जब (प्रधानमंत्री) मोदी जी ने कहा कि वो (नीतीश कुमार) महिला विरोधी हैं, लेकिन तब तो आप सपोर्ट में खड़े थे।
पप्पू यादव ने कहा, आज किसी मंच पर राष्ट्रगान के बीच में उन्होंने भूलवश किसी को टोक दिया, तो क्या ये आपको इंटेंशनली लगता है..? क्या इसका भी राजनीतिकरण होना चाहिए..? क्या अब कोई मुद्दे नहीं बचे?
उन्होंने आगे कहा कि अब तो ऐसा लगता है कि बीजेपी भी नीतीश जी से लड़ रही है और आप (राजद) भी नीतीश जी से लड़ रहे हैं। प्रशांत किशोर भी नीतीश जी से ही लड़ रहे हैं, मतबल बीजेपी से कोई लड़ने को तैयार नहीं है। मेरा मानना है कि नीतीश कुमार की अस्वस्थता और उम्र दोनों ही अब सभी को दिखती है, मुझे नहीं लगता कि इसपर राजनीति होनी चाहिए।
पूरे मुद्दे पर पूर्व सीएम राबड़ी देवी ने क्या कहा?पूर्व सीएम राबड़ी देवी ने कहा, "...उनकी (बिहार के सीएम नीतीश कुमार) मानसिक स्थिति ठीक नहीं है। हम मांग करते हैं कि अगर उनका दिमाग काम नहीं कर रहा है तो उन्हें अपने बेटे को मुख्यमंत्री बनाना चाहिए।"
इससे पहले आज राजद नेता मीसा भारती ने नीतीश के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य पर सवाल उठाते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को बिहार की दुर्दशा पर विचार करना चाहिए।
मीसा भारती ने कहा, "राष्ट्रगान के दौरान बिहार के सीएम नीतीश कुमार शारीरिक और मानसिक रूप से ठीक नहीं दिखे। मैं पीएम मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से पूछना चाहती हूं कि क्या आपको उनकी मानसिक स्थिति ठीक लगी... वह हर दिन महिलाओं, बच्चों का अपमान करते रहते हैं... पीएम मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को सोचना चाहिए कि बिहार किसके हाथ में है।"
ये भी पढ़ें- राबड़ी देवी ने किसे CM बनाने को कहा? तेजस्वी की जगह लिया 'दूसरे' का नाम; कहा- नीतीश अब ठीक नहीं
राबड़ी देवी ने किसे CM बनाने को कहा? तेजस्वी की जगह लिया 'दूसरे' का नाम; कहा- नीतीश अब ठीक नहीं
डिजिटल डेस्क, पटना। Bihar Politics: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का राष्ट्रगान के दौरान बात करने का वीडियो वायरल होने के बाद से प्रदेश में सियासी पारा हाई हो गया है।
वायरल वीडियो को लेकर राजद ने राष्ट्रगान का अपमान करने का आरोपी सीएम नीतीश कुमार पर लगाया है। वहीं इसे लेकर शुक्रवार को विधानसभा में विपक्षी दलों ने जमकर हंगामा भी किया।
इस मामले में आरजेडी जहां इस्तीफे की मांग कर रही है। दूसरी ओर, बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी ने एक ऐसी मांग कर दी है जिसे सुनकर तेजस्वी यादव भी हैरान रह जाएंगे।
नीतीश कुर्सी छोड़ें : राबड़ी देवीदरअसल, राबड़ी देवी ने अल्टीमेटम देते हुए कहा है कि नीतीश कुमार की दिमागी हालत सही नहीं है। उन्हें गद्दी छोड़ देना चाहिए।
राबड़ी देवी ने कहा कि नीतीश कुमार को सत्ता छोड़कर अपने बेटे निशांत कुमार को मुख्यमंत्री बनाना चाहिए या किसी दूसरे को बनाना चाहिए।
'बेटे को आगे लाओ'बिहार की पूर्व सीएम राबड़ी देव ने शुक्रवार को विधानसभा के बाहर मीडिया से बात करते हुए यह बातें कही हैं। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार की दिमागी हालत ठीक नहीं है।
उन्होंने यह भी कहा कि जब दिमाग ही ठीक नहीं है तो इस्तीफा देकर अपने बेटे (निशांत कुमार) को बनाएं (सीएम) या कोई और को बनावें।
'देश का अपमान हुआ'पूर्व सीएम ने कहा कि दिमाग ही काम नहीं कर रहा है तो अपने बेटे को आगे लाओ। राबड़ी ने वायरल वीडियो के बारे में भी अपनी बात कही।
उन्होंने कहा कि वीडियो में दिख रहा है कि राष्ट्रगान हो रहा है और नीतीश कुमार हाथ जोड़ रहे हैं, प्रणाम कर रहे हैं। विजय चौधरी और दीपक कुमार का नाम लेकर भी हाथ से नमस्कार की मुद्रा बनाते हुए कहा कि नीतीश प्रणाम कर रहे हैं।
राबड़ी देवी ने कहा कि देश का अपमान हुआ है। राष्ट्रगान का अपमान हुआ है। बिहार को शर्मसार किए, देश को शर्मसार करने वाली ये घटना है।
पहले भी चर्चा में रहे नीतीश कुमारबता दें कि यह कोई पहला मौका नहीं है जब नीतीश कुमार इस तरह के विवाद में घिरे हैं। आइए जानते हैं ऐसा कुछ कब-कब हो चुका है।
- हाल ही में विधानसभा सत्र के दौरान नीतीश कुमार अपनी दाढ़ी पर हाथ फेरते हुए तेजस्वी यादव की ओर इशारा करते नजर आए थे। वह जानना चाहते थे कि तेजस्वी दाढ़ी क्यों नहीं बना रहे हैं।
- इससे पहले भी नीतीश कुमार बजट पर चर्चा के दौरान सदन में तेजस्वी की ओर इशारे करते हुए देखे गए थे। वह अशोक चौधरी के हाथ में पहने गए ब्रेसलेट को टच करते हुए नजर आए थे।
- एक श्रद्धांजलि सभा में भी वह अपने ही मंत्री (अशोक चौधरी) के ऊपर फूल डालकर चर्चा में आए थे। पिछले साल विजय सिन्हा और अशोक चौधरी के सिर को पकड़कर आपस में टकरा दिए थे।
यह भी पढ़ें
Bihar Politics: इधर बिहार में कांग्रेस के अध्यक्ष बदले, उधर कन्हैया कुमार ने उठा दिया बड़ा मुद्दा
Bihar News: बिहार पुलिस की बड़ी सफलता, टॉप 10 अपराधियों में शामिल सोनू एनकाउंटर में गिरफ्तार
जागरण संवाददाता, पटना। पटना जिले के टॉप 10 अपराधियों की सूची में शामिल अपराधी सोनू कुमार के मनेर थानाक्षेत्र में होने की सूचना प्राप्त हुई थी, जिसके बाद पुलिस ने छापामारी की। मनेर में अपराधी एवं पुलिस के बीच हुई मुठभेड़ में एक अपराधी को गोली लगी। उसे घायल अवस्था में ईएसआईसी अस्पताल से पटना पीएमसीएच रेफर किया गया है।
एएसपी के नेतृत्व में हुई छापामारीपुलिस अधीक्षक (पश्चिम) शरत आर एस ने बताया कि दानापुर एएसपी के नेतृत्व में अपराधियों को पकड़ने में टीम लगी थी। अपराधी सोनू कुमार के मनेर थानाक्षेत्र में होने की सूचना प्राप्त हुई थी।
घटनास्थल पर मौजूद पुलिस।
इसके बाद पटना पुलिस और STF की संयुक्त टीम द्वारा छापेमारी की गई। पुलिस को देख अपराधियों द्वारा पुलिस पर फायरिंग की गई, जिसपर की गई जवाबी कार्रवाई में वांछित सोनू कुमार के पैर में गोली लगी है, उसे गिरफ्तार कर लिया गया है।
जांच करते हुए अधिकारी।
पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, अपराधी 3-4 की संख्या में थे। मुठभेड़ के दौरान सोनू कुमार को गोली लगने के बाद गिरफ्तार कर लिया गया। वहीं, अन्य अपराधी भागने में कामयाब रहे।
इन मामलों में पुलिस को थी सोनू की तालाश21 दिसंबर 2024 को दानापुर में श्राद्ध कर्म से लौट रहे दानापुर छावनी परिषद के पूर्व उपाध्यक्ष रणजीत कुमार उर्फ दही गोप की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस हत्या के बाद दानापुर में काफी बवाल हुआ था।
पुलिस ने कई आरोपियों को गिरफ्तार किया, लेकिन मुख्य शूटर सोनू अभी तक फरार चल रहा था। अब पुलिस ने बड़ी सफलता हासिल करते हुए शूटर सोनू को गिरफ्तार कर लिया है।
8 दिसंबर को मनेर के महिनवा निवासी सुरेश साहू के पुत्र कुंदन आर्य की मनेर श्रीनगर समीप हत्या और बाइक ,लैपटॉप लूट में भी सोनू शामिल था। सोनू मृतक कुंदन आर्य, उपेंद्र कुशवाहा के रालोसपा के आईटी सेल के कर्मी था।
इस खबर को लगातार अपडेट किया जा रहा है। हम अपने सभी पाठकों को पल-पल की खबरों से अपडेट करते हैं। हम लेटेस्ट और ब्रेकिंग न्यूज को तुरंत ही आप तक पहुंचाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। प्रारंभिक रूप से प्राप्त जानकारी के माध्यम से हम इस समाचार को निरंतर अपडेट कर रहे हैं। ताजा ब्रेकिंग न्यूज़ और अपडेट्स के लिए जुड़े रहिए जागरण के साथ।
Bihar Politics: 'खत्म हो जाएगी लालू परिवार की राजनीति', BJP नेता के बयान से गरमाई बिहार की सियासत
राज्य ब्यूरो, पटना। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रभाकर मिश्र ने लालू यादव और उनके परिवार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि यह तय है कि लालू और उनके परिवार के लोगों को 'लैंड फॉर जॉब' मामले में जेल जाना ही होगा। गरीबों की हाय से लालू परिवार की राजनीति का अंत हो जाएगा।
नई पीढ़ी को बिहार का बदहाली के बारे में जानना जरूरी: प्रभाकर मिश्र- गुरुवार को जारी बयान में प्रभाकर ने कहा है कि बिहार की नई पीढ़ी, जो 2005 के पहले के बिहार के बारे में नहीं जानती, उन्हें यह बताना जरूरी है कि 2005 के पहले बिहार में किस तरह की बदहाली थी। सड़क, अस्पताल, बिजली और शिक्षा की स्थिति कैसी थी।
- 2005 के पहले बिहार में कानून -व्यवस्था का क्या हाल था। बिहार में लालू -राबड़ी ने उद्योग के नाम पर अपहरण का उद्योग खड़ा किया। अगर इस सत्य को सुनने में राजद के नेताओं को मिर्ची लगती है तो लगे। सत्य को कोई झुठला नहीं सकता।
- लालू ने गरीबों छात्रों के साथ, जो अन्याय किया है, उसका फल तो भुगतना ही पड़ेगा। लालू परिवार को जेल से छुट्टी नहीं मिलने वाली। लैंड फॉर जॉब मामले में लालू और उनके स्वजनों को जब जेल होगी, तभी पीड़ितों को न्याय मिलेगा।
जदयू प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने गुरुवार को कहा कि लालू परिवार के राजनीतिक दामन पर चारा घोटाला, लैंड फॉर जॉब घोटाला, मिट्टी घोटाला, माल घोटाला और बेनामी संपत्ति घोटाला जैसे अनगिनत दाग हैं।
घोटालों की यह लंबी फेहरिस्त राजद के भ्रष्टाचार और अनैतिक आचरण का जीता-जागता प्रमाण है। जनता अब इस परिवार को लूट का मौका नहीं देगी।
पिता के नक्शे कदम पर चल रहे तेजस्वी: उमेश सिंह कुशवाहाजदयू प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि राजद की राजनीतिक विरासत संभाल रहे नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव भी अब अपने पिता के नक्शे कदम पर चलते हुए बिहार को फिर से जंगलराज की आग में झोंकने और भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने की साजिश में लगे हैं।
अब बिहार की जागरूक जनता उनके नापाक इरादों को भली-भांति समझ चुकी है। विकास और सुशासन की नीति के सामने राजद का झूठ टिक नहीं पाएगा, उनकी राजनीति केवल परिवारवाद और निजी स्वार्थ तक सीमित है।
जिन्होंने सत्ता में रहते हुए बिहार को लूटा और सिर्फ अपने परिवार को बढ़ाने में लगे रहे, उन पर जनता अब कतई भरोसा नहीं करेगी। सत्ता पाने का उनका सपना अब कभी पूरा नहीं होगा।
ये भी पढ़ें
Bihar: अश्लील गीत मामले में फंसे गोपाल मंडल ने छैला बिहारी पर फोड़ा ठीकरा, अचानक क्यों लिया यूटर्न
Bihar Politics: 'पति हटा तो आप CM बनीं', बिहार विधान परिषद में फिर भिड़े नीतीश कुमार और राबड़ी देवी
Bihar Weather: मौसम के बदले तेवर से बढ़ी मुश्किल, बारिश के साथ ओले गिरने की संभावना; IMD ने जारी किया ऑरेंज अलर्ट
जागरण संवाददाता, पटना। Bihar Weather Today: प्रदेश के मौसम में लगातार बदलाव देखने को मिल रहा है। गुरुवार को कई इलाकों में हुई बारिश के बाद आज भी बारिश होने के आसार हैं। मौसम विभाग ने बारिश के साथ ओले गिरने की संभावना को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। इसके साथ ही पांच दिनों के दौरान तापमान में विशेष परिवर्तन की संभावना नहीं है।
इन इलाकों में बारिश होने के आसारआज प्रदेश के भभुआ, रोहतास, औरंगाबाद, गया, नवादा, जमुई एवं बांका जिले के एक या दो स्थानों पर गरज-तड़क के साथ वर्षा व ओले गिरने की संभावना है, जिसे लेकर मौसम विभाग ने ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। पटना सहित दक्षिणी, उत्तर-मध्य व उत्तर-पूर्व भागों में बादल छाए रहने के साथ तेज हवा व छिटपुट वर्षा की संभावना है।
प्रमुख शहरों में आज के मौसम का हाल शहरअधिकतम
(तापमान डिग्री सेल्सियस में)
न्यूनतम
(तापमान डिग्री सेल्सियस में)
पटना 34 22 भागलपुर 33 22.2 मुजफ्फरपुर 33 18 नवादा: बादलों के जमघट के बीच हुई बूंदाबांदीजिला मुख्यालय समेत प्रखंड इलाकों में गुरुवार को मौसम ने पूरी तरह से करवट ले ली। सुबह से ही आसमान बादलों से ढका रहा। कभी-कभी हल्की धूप निकली, लेकिन वह पल भर में ही ठंडी हवाओं के साथ बूंदाबांदी में बदल गई। हल्की ठंड भी महसूस हुई। नवादा शहर में रूक-रूककर कई बार तेज ठंडी हवा के साथ बूंदाबांदी हुई।
इस बीच लोग बदले हुए मौसम को लेकर चर्चा करते दिखे। इधर, हिसुआ, वारिसलीगंज, रोह, नारदीगंज, अकबरपुर में भी मौसम अपने बदले अंदाज में दिखा।
इस बदले हुए मौसम से सबसे अधिक किसान चिंतित नजर आए। अभी खेतों में गेहूं पक रही है। तिलहन व दलहन कट चुकी है। कहीं-कहीं कटने की स्थिति में है। ऐसे में तेज हवा व वर्षा इन सभी फसलों को नुकसान पहुंचाएगी। इसके साथ ही बागीचे में आम के मंजर व छोटे दाने रूपी फल को भी नुकसान पहुंचने का अंदेशा है।
मेसकौर में चिंतित दिखे किसानबारिश की वजह से गेहूं समेत दलहन व तिलहन को नुकसान हो सकता है। मेसकौर क्षेत्र में दिन भर कभी धूप-कभी छाया रही। मौसम के अचानक बदलने से किसानों के चेहरे पर मायूसी छा गई।
पसाढ़ी गांव के किसान बीरेंद्र यादव, मेसकौर के बेलन यादव, पथरा के राजेंद्र यादव सहित अन्य ने बताया कि जिस समय मौसम में परिवर्तन हुआ अगर तेज बारिश हुई तो हम लोगों की फसल बर्बाद हो जाएगी।
अभी दहलन की फसल कटवा रहे हैं। मौसम विभाग ने लोगों के मोबाइल पर सूचना भेज मौसम के बारे में जानकारी दी है।
ये भी पढ़ें
Weather: दिल्ली-यूपी में बढ़ेगी गर्मी, राजस्थान-बिहार में बारिश के आसार; पहाड़ों पर बदल सकता है मौसम