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Bihar Weather Today : पटना सहित 14 शहरों का बिगड़ा मौसम, इन आठ जिलों में चढ़ा पारा; 'लू' को लेकर येलो अलर्ट जारी
जागरण संवाददाता, पटना। Bihar Weather News Today मौसम के तामझाम ने लोगों को परेशान कर दिया है। बीते पांच दिनों से राजस्थान से आ रही गर्म हवा के कारण आर्द्रता में कमी आने के साथ प्रदेश का तापमान सामान्य से अधिक होने से लोग भीषण गर्मी व लू से परेशान हैं।
दोपहर 12 बजे से शाम चार बजे तक 25-30 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से उत्तर पछुआ हवा का प्रवाह जारी है। पांच दिनों बाद रविवार की शाम से मौसम ने करवट ली। हवा की गति कम होने के साथ पटना व आसपास इलाकों में आंशिक बादल भी छाए रहे।
पांच दिनों बाद गर्मी से मिली राहतपांच दिन बाद पटना (Patna Weather) समेत 14 शहरों के अधिकतम तापमान में आंशिक गिरावट दर्ज की गई। शनिवार को जहां पटना का अधिकतम तापमान 42.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। वहीं, रविवार को 1.6 डिग्री सेल्सियस की गिरावट के साथ 40.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
43.6 डिग्री सेल्सियस के साथ बेगूसराय प्रदेश का सबसे गर्म शहर रहा। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार 25 अप्रैल तक पटना सहित दक्षिणी व उत्तर पश्चिम भागों में गर्म दिन रहने के आसार है। इस दौरान कई जिलों में लू व भीषण लू की चेतावनी को लेकर येलो व औरेंज अलर्ट जारी किया गया है।
तापमान और बढ़ने की संभावनासोमवार को प्रदेश के आठ जिलों के बांका, शेखपुरा, भागलपुर, मधुबनी, जमुई, सुपौल, दरभंगा व पूर्वी चंपारण जिले में लू को लेकर चेतावनी जारी की गई है। जबकि, पटना समेत दक्षिणी व उत्तर-पश्चिम भागों में गर्म दिन रहने की संभावना है। अधिकतम तापमान में धीरे-धीरे वृद्धि की संभावना है।
तेज उत्तर पछुआ हवा का प्रवाह होने के कारण वायुमंडल के निचले हिस्सों में नमी की मात्रा कम होने पर तापमान में वृद्धि होती है। नमी कम रहने व बादल नहीं बनने के कारण सूर्य की किरणें तीखी व सीधे पहुंच रही है। ऐसे में लोगों को भीषण गर्मी का एहसास हो रहा है।
40 पार प्रमुख शहरों का तापमानगया का अधिकतम तापमान 41.8 डिग्री सेल्सियस, नवादा व जमुई का 41.7 डिग्री, बांका व औरंगाबाद का 41.5 डिग्री, डेहरी का 40.4 डिग्री, भोजपुर का 40.5 डिग्री, नालंदा का 41.0 डिग्री, शेखपुरा का 43.0 डिग्री, छपरा का 40.5 डिग्री, मुजफ्फरपुर का 40.4 डिग्री, बेगूसराय का 43.6 डिग्री, भागलपुर का 40.7 डिग्री, दरभंगा का 40.2 डिग्री, सुपौल का 40.2 डिग्री, पूर्णिया का 40.2 डिग्री, मधुबनी का 41.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
प्रमुख शहरों का तापमानशहर अधिकतम न्यूनतम
पटना 40.6 27.7
गया 41.8 23.4
भागलपुर 40.7 23.9
दरभंगा 40.2 25.0
(तापमान डिग्री सेल्सियस में)
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रमण शुक्ला, पटना। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चाहते हैं कि पूरे बिहार का मिजाज राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के पक्ष में हो जाए। इसी लक्ष्य को साधने 26 अप्रैल को दूसरे चरण के मतदान वाले दिन मोदी अररिया व मुंगेर में जनसभा को संबोधित करने बिहार आ रहे हैं।
अररिया में भाजपा सांसद प्रदीप सिंह एक बार फिर मैदान में हैं। उनका मुकाबला राजद के शाहनवाज आलम से है। वहीं, मुंगेर में जदयू के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं वर्तमान सांसद राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह की टक्कड़ राजद की अनिता महतो है।
अहम यह है कि दोनों संसदीय क्षेत्र दूसरे चरण वाले सीमांचल के चार लोकसभा क्षेत्र लगा हुआ है। ऐसे में मतदान के दिन जनसभा को संबोधित करते हुए दूसरे चरण के मतदाताओं को हर हाल में घर से निकालने संदेश भी देंगे। प्रधानमंत्री की कोशिश हर हाल पिछले दो चुनाव के मतदान के रिकार्ड को तोड़ना का रहेगा।
चार सीटों पर जदयू का कब्जादरअसल, 26 को किशनगंज, पूर्णिया, कटिहार, भागलपुर एवं बांका संसदीय क्षेत्रों में मतदान होना है। किशनगंज छोड़कर बाकी चार लोकसभा क्षेत्र पर जदयू का कब्जा है। ऐसे में अररिया में होने वाली प्रधानमंत्री की जनसभा से सीमांचल की तीन सीट किशनगंज, पूर्णिया एवं कटिहार में राजग के पक्ष में माहौल बनेगा।
साथ ही संभव है कि प्रधानमंत्री बिहार में गिरते मतदान प्रतिशत थामने के लिए मतदाताओं से जलपान से पहले मतदान करने की अपील करके दूसरे चरण वाले 94 लाख मतदाताओं को साधने की पहल करेंगे।
इसके साथ ही सीमांचल में बढ़ते सामाजिक असंतुलन, घुसपैठ एवं अन्य स्थानीय मुद्दों की ओर भी जनता जनार्दन का ध्यान आकृष्ट करेंगे। इसमें सबसे अहम मुद्दा घुसपैठ एवं लोगों के पलायन को रोकना होगा।
कांग्रेस-राजद से करेंगे सावधानमतदाताओं को साधने के लिए बहुत संभव है कि अपने चिर परिचित अंदाज में प्रधानमंत्री राजद नेताओं को जंगलराज का सबसे बड़ा चेहरा, भ्रष्टाचार का दूसरा नाम और बर्बादी का सबसे बड़ा गुनहगार भी ठहराएंगे।
लालटेन राज का डर दिखाते हुए बिहार में युवा मतदाता कैसे मोबाइल तक चार्ज नहीं कर पाते वह दर्द भी याद दिलाकर वोट बैंक को एक सूत्र में बांधने का प्रयास भी करेंगे।
साथ ही कांग्रेस-राजद द्वारा पिछले तीन दशकों से लोगों को डराने के लिए भिन्न-भिन्न प्रकार की विकृत कथाएं प्रचलित करने को लेकर भी सावधान करेंगे। भाजपा कैसे देश में सबसे ज्यादा शांति के साथ तरक्की वाला भारत गढ़ रही गिनाकर मतदाताओं में संदेश देने के साथ उत्साह भर सकते हैं।
अफवाह फैलाने वालों से करेंगे आगाहदूसरे चरण में जिन पांच सीटों पर मतदान होना है उनमें तीन मुस्लिम बहुल हैं। ऐसे में संभव है कि प्रधानमंत्री सनातन को गाली देने वाली ताकतों के विरुद्ध भी सचेत करें। साथ ही वे देश में अफवाह फैलाने वालों के प्रति भी सचेत कर राजग के प्रति मतदाताओं को गोलबंद करेंगे।
दूसरे चरण में किशनगंज, कटिहार, भागलपुर एवं पूर्णिया के मतदाताओं को लक्ष्य बनाकर ही अररिया की जनसभा प्रधानमंत्री 80 बनाम 20 की राजनीति बिसात बिछाने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।
कांग्रेस के इकलौते सांसद मो. जावेद को फिर संसद पहुंचने से रोकने के लिए पाकिस्तानी आंतकवाद के विरुद्ध सेना के पराक्रम एवं दुश्मनों के घर में घुसकर मुंहतोड़ जवाब के साथ जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाने जैसे निर्णय गिनाएंगे।
सीमांचल में अच्छी सड़कों का निर्माण करवा कर पूर्णिया में हवाई अड्डा से विकास को पंख देने जैसी पहल का श्रेय लेने का भी वे जतन करेंगे।
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पंज प्यारों ने प्रबंधक समिति के सचिव को घोषित किया तनखैया, श्री हरिमंदिर साहिब की मर्यादा के उल्लंघन का था आरोप
जागरण संवाददाता, पटना। बिहार में तख्त श्रीहरिमंदिर जी पटना साहिब के पंज-प्यारों ने रविवार को बैठक कर प्रबंधक समिति के सचिव सरदार हरबंश सिंह को तनखैया घोषित कर दिया। बैठक में पंज-प्यारों में जत्थेदार ज्ञानी बलदेव सिंह, अतिरिक्त मुख्य ग्रंथी ज्ञानी दिलीप सिंह, ज्ञानी गुरुदयाल सिंह, परशुराम सिंह व अमरजीत सिंह थे।
जत्थेदार सह मुख्य ग्रंथी ज्ञानी बलदेव सिंह ने बैठक के बाद बताया कि दो अप्रैल को सचिव ने पंज प्यारों को लिखित रूप से स्पष्टीकरण दिया था कि वर्ष 2023 में रंजीत सिंह गौहर ए मस्कीन की सेवा जारी रखने से संबंधित इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित पत्र गलत, झूठ व फर्जी है।
इस बारे में पंज प्यारों ने कहा कि रंजीत सिंह गौहर-ए-मस्कीन ने संवाददाता सम्मेलन में सचिव के उसी पत्र को आधार बताकर प्रबंधक समिति पर न्यायालय में मुकदमा कराया है।
पंज प्यारों ने माना कि जारी पत्र में सचिव हरबंश सिंह के ही हस्ताक्षर हैं, वे मुकर नहीं सकते हैं। सचिव ने पंज प्यारों से भी झूठ बोला है। इस मामले में संगत व प्रबंधक समिति के सदस्यों द्वारा भी लिखित शिकायत मिली है।
पंच प्यारे सिंह साहिबान ने रविवार को दिए गए निर्णय में कहा कि सचिव बार-बार तख्त श्रीहरिमंदिर पटना साहिब की मर्यादा का उल्लंघन करते हैं। इस कारण सचिव हरबंश सिंह को तनखैया घोषित किया है।
उल्लेखनीय है कि सिखों में पंथ विरुद्ध कार्य करने वालों को तनखैया घोषित किया जाता है। बाद में उन्हें दंडित भी किए जाने का प्रविधान है।
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BPSC Paper Leak: बीपीएससी पेपर लीक मामले के आरोपित उज्जैन से लाए गए पटना, EOU कल कोर्ट में करेगी पेश
राज्य ब्यूरो, जागरण, पटना। BPSC Paper Leak Case: बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) के द्वारा ली गई शिक्षक भर्ती के तृतीय चरण की परीक्षा के पेपर लीक मामले में उज्जैन से गिरफ्तार पांचों आरोपितों को पटना ले आया गया है। आर्थिक अपराध इकाई की विशेष टीम महिला समेत सभी आरोपितों को लेकर रविवार को पटना पहुंची।
अब इन सभी को सोमवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा। ईओयू इनकी रिमांड भी कोर्ट से मांगेगी ताकि इनसे पेपर लीक मामले में विस्तृत पूछताछ की जा सके। ईओयू ने गुप्त सूचना पर शुक्रवार को उज्जैन के होटल से पांच आरोपितों को गिरफ्तार किया था और जहां उन्हें स्थानीय कोर्ट में पेश कर सोमवार तक की ट्रांजिट रिमांड ली गई है।
गिरफ्त में आए आरोपितों के नामगिरफ्तार आरोपितों में प्रदीप कुमार, संदीप कुमार, शिवकुमार और तेज प्रकाश शामिल हैं। यह सभी नालंदा के रहने वाले हैं। इसके अलावा एक महिला आरोपित को भी ईओयू ने गिरफ्तार किया है। यह सभी पेपर लीक गिरोह के मुख्य आरोपित बताए जा रहे हैं।
कई राज्यों से जुड़े हैं पेपर लीक गिरोह के तार15 मार्च को आयोजित शिक्षक भर्ती परीक्षा के पेपर लीक मामले के तार कई राज्यों से जुड़े हैं। इसमें बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश जैसे राज्य शामिल हैं।
शिक्षक भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में झारखंड के हजारीबाग से परीक्षा के एक दिन पहले 270 अभ्यर्थियों को साल्वर गिरोह के सदस्यों के साथ गिरफ्तार किया गया था।
यहां से मिली थी पेपर लीक होने की जानकारीइसके बाद हुई पूछताछ के आधार पर कोलकाता के प्रिंटिंग प्रेस से पेपर लीक होने की जानकारी जांच टीम को मिली थी। इस गिरोह के द्वारा यूपी व दिल्ली की प्रतियोगी परीक्षाओं के भी पेपर लीक से जुड़े होने की जानकारी सामने आई थी।
अब उज्जैन से पकड़े गए आरोपितों से पूछताछ में इन सारे तारों को जोड़ा जाएगा और अंतरराज्यीय गिरोह के सरगना तक पहुंचने का प्रयास ईओयू की जांच टीम करेगी।
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राज्य ब्यूरो, जागरण, पटना। लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में चुनावी सभाओं और रैलियां को जोर बढ़ रहा है। रविवार को गृह अमित शाह एनडीए प्रत्याशी के पक्ष में प्रचार के लिए कटिहार में थे। यहां उन्होंने महागठबंधन पर जोरदार हमला बोला।
शाह की बिहार यात्रा के बीच नेता प्रतिपक्ष ने चुटकी लेते हुए कहा,
बिहार में गर्मी बहुत है। अमित शाह जी जब भी बिहार आएं तो सत्तू पीएं इससे शरीर ठंडा और दिमाग शांत रहता है। सत्तू पीने से बिहार की जानकारी भी हो जाएगी।
जनता ने बना लिया है मन...रांची में महागठबंधन की रैली को संबोधित करने के बाद पटना पहुंचे नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि रांची की रैली शानदार रही। लोगों का ऐसा हुजूम उमड़ा की मैदान छोटा पड़ गया। उन्होंने कहा जनता ने मन बना लिया है। बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश से ये लोग (एनडीए गठबंधन) साफ हो रहा है। इसके बाद इनके पास करने के लिए कुछ नहीं होगा।
अमित शाह ने क्या कहा था?सभा को संबोधित करते हुए कहा अमित शाह ने दावा किया कि पीएम मोदी ने देश से परिवारवाद, जातिवाद और तुष्टिकरण को समाप्त कर दिया है। उन्होंने कहा कि सालों से कांग्रेस और इनके साथी लालू यादव कहते थे कि गरीबी हटाओ, लेकिन कोई गरीबी नहीं हटी। उन्होने कहा कि पीएम मोदी ने महज 10 साल में देश के 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाल दिया। लालू और राबड़ी ने मिलकर बिहार को जंगलराज में बदल दिया था।
एनडीए के डबल इंजन पर राजद का अटैकदूसरी ओर राजद प्रवक्ता चितरंजन गगन ने शाह की बिहार यात्रा के बाद कहा कि कुछ कालखंड को छोड़कर बिहार में पिछले दस वर्षों से बिहार में डबल इंजन की सरकार है।
चितरंजन ने कहा कि इन दस वर्षों में बिहार को क्या दिया गया इस पर चुप्पी साधे रहे गए। 2014 के लोकसभा चुनाव के समय बेरोजगारी और महंगाई पर किए गए वादों की कोई चर्चा नहीं की।
उन्होंने कहा भाजपा नेताओं की बातों को कोई अब गंभीरता से लेता भी नहीं है, क्योंकि सभी इस बात को समझ चुके हैं कि भाजपा केवल झूठ बोलने वालों की पार्टी है।
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UGC NET 2024 Application Form: यूजीसी नेट एग्जाम के लिए रजिस्ट्रेशन शुरू, पेपर-पेन से होगी परीक्षा, यहां करें अप्लाई
जागरण संवाददाता, पटना। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की ओर से राष्ट्रीय स्तर के जूनियर रिसर्च फेलोशिप एवं सहायक प्राध्यापक के लिए राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा (नेट) अब छह वर्षों के बाद एकबार फिर से ऑनलाइन से ऑफलाइन मोड में आयोजित होगी।
इसमें अभ्यर्थी ओएमआर शीट पर ऑफलाइन (पेन-पेपर) मोड में 16 जून को परीक्षा में शामिल होंगे। नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) ने यूजीसी नेट जून 2024 के लिए रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया आरंभ कर दिया है।
अभ्यर्थी वेबसाइट ugcnet.nta.ac.in पर जाकर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं। नेट जून 2024 के लिए आवेदन 10 मई रात 11:50 तक कर सकते है। कुल 83 विषयों की परीक्षा एक साथ एक दिन ही आयोजित होगी।
सूत्रों की मानें तो यूजीसी नेट ऑनलाइन परीक्षा में सेंटर पर धांधली के आरोपों की शिकायत लगातार मिल रही थी। इसके बाद यह कदम उठाया गया। यूजीसी नेट दिसंबर 2018 से कंप्यूटर आधारित टेस्ट (सीबीटी) मोड में एनटीए की ओर से आयोजित हो रहा है।
किस वर्ग को देने कितना आवेदन शुल्क देना होगा?सामान्य वर्ग के उम्मीदवारों के लिए आवेदन शुल्क 1150 रुपये, ईडब्ल्यूएस, ओबीसी एनसीएल के लिए 600 रुपये, एससी, एसटी, दिव्यांग और थर्ड जेंडर के लिए आवेदन शुल्क 325 रुपये हैं।
एक कैंडिडेट के लिए एक ही आवेदन फार्म जमा किये जाएंगे। एक से ज्यादा फार्म भरने पर सभी आवेदन रद्द कर दिए जाएंगे।
पीएचडी प्रवेश के लिए भी होगा नेट स्कोर का उपयोगयूजीसी ने कहा है कि सत्र 2024-25 से पीएचडी प्रवेश के लिए भी नेट स्कोर का उपयोग किया जाएगा। यूजीसी के अध्यक्ष जगदीश कुमार ने कहा कि नेट का स्कोर विभिन्न संस्थानों में पीएचडी कार्यक्रमों के लिए आवेदन करने के लिए किसी भी सत्र से अपने स्कोर का उपयोग कर सकते हैं।
जून 2024 से, नेट उम्मीदवारों को तीन श्रेणियों में पात्र घोषित किया जाएगा। ये तीन श्रेणियां में पहला जेआरएफ के साथ पीएचडी में प्रवेश और सहायक प्रोफेसर के रूप में नियुक्ति के लिए पात्र होंगे।
दूसरा जेआरएफ के बिना पीएचडी में प्रवेश और सहायक प्रोफेसर के रूप में नियुक्ति के पात्र तथा तीसरा केवल पीएचडी कार्यक्रम में प्रवेश के पात्र होंगे।
नेट देने के लिए ये अभ्यर्थी होंगे योग्ययूजीसी के चेयरमैन प्रो एम जगदीश कुमार बदलाव को लेकर बताया कि चार वर्षीय पाठ्यक्रम में शामिल अभ्यर्थी अंतिम वर्ष या अंतिम सेमेस्टर में होने पर भी इसके लिए आवेदन कर सकते है। पहले पीजी फाईनल ईयर, फाइनल सेमेस्टर या पीजी पास आउट अभ्यर्थी आवेदन करते थे।
चार वर्षीय पाठ्यक्रम वाले अभ्यर्थी कोई भी विषय से नेट की परीक्षा में शामिल हो सकते है। हालांकि, अभ्यर्थी को नेट परीक्षा के लिए वहीं विषय चुनना होगा जो विषय यूजीसी नेट में शामिल हैं और जिसमें आगे पीएचडी करना चाहते हैं।
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Bihar News: बिहार में यात्रियों के भारी भीड़ से परेशान हुआ इंडियन रेलवे, आरामदायक यात्रा के लिए करेगा ये काम
जागरण संवाददाता, पटना। भारतीय रेलवे ने यात्रियों की संख्या में वृद्धि होने पर कोचों की संख्या बढ़ाने का निर्णय लिया है। इससे पूर्व मध्य रेलवे के यात्रियों को सुविधा मिलने की उम्मीद की जा रही है।
राजधानी के राजेन्द्रनगर टर्मिनल से सहरसा जाने वाली इंटरसिटी एक्सप्रेस में कोच की संख्या बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। यह ट्रेन 22 अप्रैल को राजेन्द्र नगर से सहरसा के लिए रवाना होगी। यह ट्रेन अब 21 कोच लेकर सहरसा जाएगी।
वहीं सहरसा-अमृतसर गरीब रथ एक्सप्रेस में वातानुकूलित तृतीय श्रेणी के एक कोच को जोड़ा जाएगा। यह सुविधा 21 अप्रैल से एक जुलाई तक उपलब्ध रहेगी। वहीं यह ट्रेन अमृतसर से सहरसा के लिए 20 अप्रैल से 30 जून तक चलाई जाएगी।
रेलवे अधिकारियों का कहना है कि दोनों ट्रेनों में कोचों की संख्या बढ़ाने की मांग लंबे समय से की जा रही थी। रेलवे की ओर से कोचों की संख्या बढ़ाने से यात्रियों में काफी खुशी देखी जा रही है। अब लोग दोनों ट्रेनों से आना-जाना कर सकते हैं।
पटना व दरभंगा से सोमवार को नई दिल्ली रवाना होगी स्पेशल ट्रेनयात्रियाें की सुविधा को लेकर सोमवार को पटना से नई दिल्ली के लिए अनारक्षित स्पेशल ट्रेन रवाना की जाएगी। यह ट्रेन पटना से 21.30 मिनट पर रवाना होगी। इसके लिए सभी तैयारी पूरी कर ली गई है।
वहीं दरभंगा से नई दिल्ली के लिए भी सोमवार को एक ट्रेन रवाना की जाएगी। यह ट्रेन दरभंगा से 20.30 बजे नई दिल्ली के रवाना होगी।
मुजफ्फरपुर से आनंद विहार के लिए भी सोमवार को अनारक्षित स्पेशल ट्रेन चलाने का निर्णय लिया गया है। यह ट्रेन मुजफ्फरपुर से 5 बजे आनंद विहार के लिए प्रस्थान करेगी।
भारतीय रेलवे की ओर से जयनगर से उधना के लिए भी अनारक्षित स्पेशल ट्रेन चलाई जाएगी। यह ट्रेन 23 अप्रैल को जयनगर से 11 बजे उधना के लिए प्रस्थान करेगी।
वहीं, दूसरी गाड़ी जयनगर से मंगलवार को 2 बजे रवाना होगी। रेलवे की ओर से सहरसा से नई दिल्ली के लिए भी अनारक्षित स्पेशल ट्रेन चलाने का निर्णय लिया गया।
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Tejashwi Yadav: 'जंगलराज के युवराज...' नौकरी का क्रेडिट लेने पर बिहार में झिड़ी सियासी जंग, तेजस्वी पर भड़की JDU
राज्य ब्यूरो, पटना। जदयू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव रंजन ने रविवार को कहा कि जंगलराज के युवराज के बयानों काे देखें तो मानो ऐसा प्रतीत होता है कि झूठ बोलने की प्रतियोगिता आरंभ हो गयी है। लेकिन, उन्हें यह समझना चाहिए कि जंगलराज की कालिख 17 महीनों पर बोले जा रहे झूठ से नहीं धुलने वाली है।
राजीव रंजन ने जदयू प्रदेश कार्यालय में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में ये बातें कहीं। राजीव रंजन ने कहा कि आजकल तेजस्वी यादव पांच लाख नौकरी देने के एक ही झूठ का लगातार प्रचार कर रहे।
दिल पर हाथ रखकर बताएं तेजस्वी...राजीव रंजन ने कहा कि जंगलराज के युवराज से उनका आग्रह है कि दिल पर हाथ रख कर जनता को बताएं कि नौकरियों को दिए जाने में उनका क्या योगदान है? उन्हें यह समझना चाहिए कि इंटरनेट के जमाने में झूठ छिपता नहीं है।
जदयू प्रवक्ता ने आगे कहा कि तेजस्वी यादव जिस समय सरकार में आए, तब उन्हें तो इस बारे में जानकारी भी नहीं थी। जदयू के प्रवक्ता हिमराज राम, मनीष यादव, डॉ. हुलेश मांझी, पल्लवी पटेल और मीडिया पैनलिस्ट डॉ. मधुरेंदु पांडेय भी इस मौके पर मौजूद थे।
तीसरे चरण में नाम वापसी की आखिरी तिथि सोमवार
लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण के लिए सोमवार को नाम वापसी की आखिरी तिथि है। ऐसे में दोपहर तीन बजे बाद पता चला जाएगा कि कितने उम्मीदवार तीसरे चरण में चुनाव लड़ेंगे और कितने पीछे हट गए। 54 नामांकन पत्र जांच में सही पाए गए हैं।
इसमें तीसरे चरण की पांच लोकसभा क्षेत्रों में झंझारपुर में 10, सुपौल में 15, मधेपुरा में आठ, अररिया में नौ एवं खगड़िया में 12 अभ्यर्थी हैं। अब देखना यह है कि अंतिम रूप में कितने प्रत्याशी मैदान में डटे रहते हैं।
तीसरे चरण संसदीय क्षेत्र में सात मई को चुनाव होना है। इस चरण में सभी सीट पर वर्तमान में राजग के सांसद हैं। अररिया सीट से भाजपा के प्रदीप सिंह सांसद हैं। जबकि खगड़िया से लोजपा के खाते में है। वहीं, झंझारपुर, सुपौल एवं मधेपुरा से जदयू के सांसद हैं।
दूसरे चरण में NDA के खिलाफ आरजेडी-कांग्रेस मिलकर खेलेगी 50-50 मैच! PM Modi का चलेगा विजय रथ या Lalu मारेंगे बाजी?
सुनील राज, पटना। Lok Sabha Election 2024 । बिहार में दूसरे चरण में जिन पांच सीटों पर चुनाव होना है उसमें बांका, पूर्णिया, भागलपुर और कटिहार सीटों पर 2019 का चुनाव जदयू ने जीता था। जबकि किशनगंज की एक मात्र सीट पर कांग्रेस ने जीत हासिल की थी।
दूसरे चरण के इस चुनाव में पांच सीटों पर एनडीए की सहयोगी जदयू के उम्मीदवार मैदान में होंगे। जबकि महागठबंधन की ओर से तीन सीट कटिहार, किशनगंज और भागलपुर में एनडीए के सामने कांग्रेस के उम्मीदवार होंगे तो दो सीट बांका और पूर्णिया में राजद जदयू को टक्कर देगा। महागठबंधन के इन दो प्रमुख दलों पर आधी-आधी लड़ाई का जिम्मा होगा।
पूर्णिया सीट पर कब और कौन जीता?दूसरे चरण की इन पांच सीटों की बात की जाए तो पूर्णिया संसदीय सीट 2014 और 2019 से जदयू के कब्जे में रही है। इस सीट पर 2009 और 2004 में भाजपा ने जीत दर्ज की थी। जबकि 1999 के लोकसभा चुनाव में राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने स्वतंत्र रूप से जीत दर्ज की थी।
राष्ट्रीय जनता दल ने पूर्णिया संसदीय सीट पर 1989 में कब्जा किया था। तब पार्टी के वरिष्ठ नेता मो. तस्लीमुद्दीन ने इस सीट पर जीत दर्ज की थी। इसके बाद 1991 और 1996 में यह सीट पप्पू यादव के कब्जे में रही।
इस बार राजद ने यहां से बीमा भारती को उम्मीदवार बनाया है। बीमा का मुकाबला पूर्व विजेता संतोष कुशवाहा से होगा। लेकिन इन दोनों के बीच पप्पू यादव भी चुनाव मैदान में और निर्दलीय ताल ठोंक रहे हैं।
वह सीट जहां से मधु लिमये जैसे दिग्गज रहे सांसदबांका संसदीय सीट वैसी सीट है, जहां से मधु लिमये, चंद्रशेखर सिंह और मनोरमा देवी चुनाव जीतती रही हैं। इस सीट पर निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में दिग्विजय सिंह और बाद में उनकी पत्नी पुतुल सिंह ने भी जीता।
2014 के लोकसभा चुनाव में राजद ने जयप्रकाश नारायण यादव को उम्मीदवारी दी और वे चुनाव जीतने में सफल भी रहे।
लेकिन, 2019 के चुनाव में जदयू उम्मीदवार गिरिधारी यादव ने जय प्रकाश को पराजित करते हुए सीट अपने नाम कर ली। इस बार बांका संसदीय सीट पर एक बार फिर राजद से जय प्रकाश और जदयू की ओर से फिर गिरिधारी यादव मैदान में हैं।
कांग्रेस की इस पारपंरिक सीट का क्या है इतिहास?भागलपुर संसदीय सीट पर जदयू के अजय कुमार मंडल और कांग्रेस के बीच टक्कर होगी। 1980-84 तक भागलपुर कांग्रेस की पारंपरिक सीट हुआ करती थी।
लालू प्रसाद के बिहार की राजनीति में उदय के बाद 1989 से लेकर 1996 तक यह सीट जनता दल के पास रही। 2004 से लेकर 2009 के यहां भाजपा का कब्जा रहा।
लेकिन, 2014 के चुनाव में यह सीट राजद के पाले में आ गई। तब राजद के शैलेश कुमार उर्फ बुलो मंडल ने इस पर जीत दर्ज की थी। लेकिन 2019 का चुनाव जदयू ने जीता।
भागलपुर में कांग्रेस एक बार फिर अपनी खोई जमीन हासिल करने मैदान में है। कांग्रेस से अजीत शर्मा और जदयू से अजय कुमार मंडल के बीच यहां टक्कर होनी है।
किशनगंज और कटिहार का सियासी पेंचकिशनगंज और कटिहार क्षेत्र में एक सीट पिछले चुनाव जदयू ने जीती तो दूसरी सीट कांग्रेस ने। कटिहार सीट से दुलालचंद गोस्वामी मैदान में थे। जिनका मुकाबला कांग्रेस के तारिक अनवर से हुआ। तारिक पराजित हुए।
तारिक अनवर 1980, 1984, 1996 और 1998 तक जीत प्राप्त की इसके बाद यहां भाजपा आ गई। लेकिन 2014 में तारिक फिर जीते और भाजपा के निखिल चौधरी पराजित रहे। 2019 में दुलालचंद ने तारिक को पराजित कर जीत प्राप्त की।
इस सीट पर ये दोनों उम्मीदवार फिर आमने सामने हैं। दूसरी ओर किशनगंज संसदीय सीट 2009 से कांग्रेस के पास रही है।
दो बार सीट पर कांग्रेस के असरारूल हक ने जीत दर्ज की। जबकि 2019 के लोकसभा चुनाव में नरेन्द्र मोदी की प्रचंड लहर में भी कांग्रेस अपनी यह सीट बचाने में सफल रही थी।
तब मो. जावेद ने जदयू उम्मीदवार मो. अशरफ को पराजित कर महागठबंधन को एक मात्र जीत दिलाई थी। इस चुनाव यहां जदयू के मुजाहिद आलम और कांग्रेस के मो. जावेद के बीच टकराव होगा।
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Bihar News: बिहार के इन 13 हजार शिक्षकों और कर्मियों के लिए गुड न्यूज! इलेक्शन के बाद सैलरी फिक्स करेगा शिक्षा विभाग
राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार के संस्कृत विद्यालयों और मदरसों में कार्यरत 13 हजार शिक्षकों एवं कर्मचारियों का वेतन निर्धारण होगा। इसमें 1,659 अनुदानित संस्कृत विद्यालयों एवं 531 मदरसाें के शिक्षक-कर्मचारी शामिल हैं।
लोकसभा चुनाव के बाद शिक्षा विभाग ने संबंधित शिक्षकों को पंचम एवं षष्ठम वेतन पुनरीक्षण के अनुरूप वेतन निर्धारण करने का निर्णय लिया है।
इसके साथ ही, विभाग ने सभी संबंधित संस्कृत विद्यालयों व मदरसों से कार्यरत मानव संसाधन के बारे में भी अभिलेख मांगा गया है।
स्कूलों से मांगे गए कर्मचारियों और शिक्षकों से संबंधित अभिलेखशिक्षा विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक, अनुदानित संस्कृत विद्यालयों एवं मदरसों से उनके शिक्षकों व कर्मचारियों से संबंधित अभिलेख मांगे गये है।
अभिलेख को शिक्षा विभाग के प्री-आडिट सेल (पूर्व अंकेक्षण कोषांग) में जमा कराना होगा। इसके लिए माडल प्रपत्र (फार्मेट) जारी किया गया है। उसी में अभिलेख मांगे गये हैं।
अभिलेख के सत्यापन के बाद पंचम एवं षष्ठम वेतन की अंतर राशि का निर्धारण होगा और फिर राशि भुगतान होगा। इसका लाभ उन शिक्षकों व कर्मचारियों को भी होगा, जो सेवानिवृत हो चुके हैं।
पटना उच्च न्यायालय ने दिया था आदेशयहां बता दें कि संबंधित संस्कृत विद्यालयों एवं मदरसों के शिक्षकों और कर्मियों को पंचम व षष्ठम वेतन की अंतर राशि का भुगतान पटना उच्च न्यायालय के आदेश पर किया जाना है।
माध्यमिक शिक्षा के विशेष निदेशक सचिन्द्र कुमार के हस्ताक्षर से सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को निर्देश जारी किया गया है।
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डेढ़ दशक तक लालू यादव के साथ देता रहा यह कद्दावर नेता, अब आखिर किस बात पर बागी हुआ बेटा?
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राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार की महाराजगंज संसदीय सीट पर इस बार लोकसभा चुनाव में भाजपा के सामने राजद की बजाय कांग्रेस का उम्मीदवार होगा। राजद ने महाराजगंज सीट इस बार चुनाव कांग्रेस को सौंप दी है।
2009 में हार के बाद जदयू छोड़कर प्रभुनाथ सिंह राजद में आए थे। अब दोनों परिवारों की अगली पीढ़ी अलग राह पर चलने जा रही है।
अबतक महाराजगंज में प्रभुनाथ परिवार राजद की पहचान रहा था, लेकिन लालू-तेजस्वी ने इस लोकसभा चुनाव में यह सीट कांग्रेस को देकर अपने रास्ते अलग करने का फैसला कर लिया।
2019 के लोकसभा चुनाव की तरह इस बार यहां भाजपा और राजद आमने-सामने नहीं होंगे। इस बार यहां भाजपा के सामने कांग्रेस का उम्मीदवार होगा।
किसे उम्मीदवार बना सकती है कांग्रेस?चर्चा है कि कांग्रेस यहां से आकाश सिंह को अपना उम्मीदवार बना सकती है। इन दो नामों के अलावा, निर्दलीय के रूप में यहां से सच्चिदानंद राय के भी मैदान में कूदने की संभावना है।
2019 में इस सीट से राजद ने प्रभुनाथ सिंह के बेटे रणधीर सिंह राजद के टिकट पर चुनाव मैदान में थे। लेकिन चुनाव जीत नहीं पाए। उन्हें सिग्रीवाल ने करीब 2.30 लाख वोट से पराजित किया।
प्रभुनाथ ने 2004 में पहली बार दर्ज की थी जीतमहाराजगंज संसदीय सीट से प्रभुनाथ सिंह ने पहली बार 2004 में जदयू के टिकट पर जीत दर्ज की थी। लेकिन 2009 में राजद ने यहां से उमाशंकर सिंह को उम्मीदवारी दी। लेकिन 2013 में हुए उपचुनाव में राजद ने वापस प्रभुनाथ सिंह को मौका दिया और चुनाव जीतने में सफल रहे।
2014 के चुनाव में यहां से राजद के सामने भाजपा ने जनार्दन सिंह सिग्रीवाल को उतारा और उनसे प्रभुनाथ सिंह पराजित रहे। 2019 में राजद ने प्रभुनाथ सिंह के बेटे रणधीर सिंह को मैदान में उतारा, लेकिन वे भी सिग्रीवाल को पराजित नहीं कर पाए।
बागी हुए रणधीर, क्या होगा अगला कदम?रणधीर को उम्मीद थी कि 2024 के चुनाव में राजद उन्हें वापस महाराजगंज से किस्मत आजमाने का मौका देगा। लेकिन, राजद ने यह सीट कांग्रेस को दे दी है। जिसके बाद रणधीर ने बागी तेवर अपना लिए हैं।
उन्होंने एलान कर दिया है कि वे 28 अप्रैल को पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ बैठक करेंगे और यदि कार्यकर्ताओं की रजामंदी हुई तो वे निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में पर्चा भरेंगे।
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Patna News: छीनी गई कार को पुलिस ने किया बरामद, फिर थाने से फिर उड़ा ले गए आरोपी; पढ़िए क्या है पूरा माजरा?
जागरण संवाददाता, पटना। Patna News: बदमाशों के दुस्साहस का एक मामला शास्त्री नगर थाने में सामने आया है। एक दिन पूर्व बाइक और कार में टक्कर के बाद बाइक सवार दो युवक क्षतिपूर्ति के नाम पर जबरन कार लेकर फरार हो जाते हैं। कार मालिक थाने से गुहार लगाता है और तत्परता दिखाते हुए पुलिस कार को बरामद कर थाना परिसर में लगा देती है।
कुछ घंटे बाद दोनों बाइक सवार युवक बेखौफ हो थाने में पहुंच जाते है और मौजूद पुलिस पदाधिकारी को गुमराह कर उसी कार को फिर से उड़ा लेते हैं। थाना से कार चोरी की बात उजागर होते ही पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। आनन-फानन में थानाध्यक्ष के नेतृत्व में विशेष टीम का गठन किया गया।
कुछ घंटे बाद पुलिस ने शास्त्री नगर के लालबाबू मार्केट निवासी आरोपित अनंत कुमार और आकाश कुमार को गिरफ्तार कर लिया। कार गौरीचक के सईदनपुर मसौढ़ी गांव से बरामद कर ली गई है।
शुक्रवार को एजी कालोनी के पास पूर्वी चंपारण निवासी उत्तम कुमार झा की कार से बाइक में टक्कर हो गई थी। बाइक सवार दोनों युवक क्षतिपूर्ति की मांग कर रहे थे। सहमति नहीं बनने पर दोनों ने उत्तम से चाबी छीन कार लेकर फरार हो गए। पीड़ित ने इसकी शिकायत शास्त्रीनगर थाने में दर्ज कराई।
रात 11 बजे पुलिस कार लालबाबू मार्केट से बरामद कर थाने लेकर आई। शनिवार तड़के 3:50 बजे बाइक सवार दोनों युवक थाना पहुंचे। मौजूद ओडी पदाधिकारी और सिपाही को चमका देकर उक्त कार को लेकर फरार हो गए। सीसीटीवी फुटेज से पता चला कि कार ले जाने वाले आरोपित बाइक सवार ही हैं। इसके बाद पुलिस ने दोनों आरोपितों को गिरफ्तार कर दूसरी बार कार को बरामद किया।
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Bihar News: शिक्षक बना हैवान! होमवर्क पूरा नहीं करने पर बच्चों को दी ऐसी सजी, माता-पिता का कांप उठा कलेजा
जागरण संवाददाता, पटना। होमवर्क पूरा नहीं करने पर एक शिक्षक हैवान बन गया। शिक्षक ने ट्यूशन पढ़ने आए दो मासूमों के हाथ और पैर को गर्म चम्मच से दाग दिया। दोनों बच्चे सगे भाई हैं। इनकी उम्र महज साढ़े छह साल और आठ साल है। एक के हाथेली के उपर और दूसरे के पैर पर कई जलने के निशान हैं।
आरोप है कि आरोपित शिक्षक ने बच्चों के स्वजनों को थाने से जाने से मना किया था और पैसों का प्रलोभन दिया। घटना कंकड़बाग थाना क्षेत्र की है। शनिवार को बच्चों के स्वजन कंकड़बाग थाना पहुंच आरोपित शिक्षक के खिलाफ शिकायत की है।
मामले में थानाध्यक्ष ने क्या कुछ बतायाथानाध्यक्ष नीरज कुमार ठाकुर ने बताया कि इस संबंध में आवेदन प्राप्त हुआ है। आरोपित शिक्षक सोनू कुमार उर्फ सुमीत के खिलाफ केस दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है। पीड़ित बच्चों के पिता मूल रूप से बाढ़ के रहने वाले हैं। कंकड़बाग में परिवार संग रहते है। वह दैनिक मजदूरी करते हैं।
दोनों बच्चे कंकड़बाग में ही एक निजी स्कूल में नर्सरी और यूकेजी में पढ़ते हैं। अशोक नगर रोड नंबर 11 में निजी स्कूल के शिक्षक सोनू कुमार के पास दोनों बच्चे ट्यूशन पढ़ने जाते है। सोनू सुबह स्कूल में पढ़ाते है और शाम साढ़े तीन बजे से छह बजे तक कोचिंग पढ़ाते है।
हर दिन की तरह शुक्रवार की शाम करीब चार बजे दोनों बच्चे ट्यूशन के लिए गए थे। आधा घंटे बाद ट्यूशन पढ़ाने वाले शिक्षक का उनके स्वजन के पास फोन आया। शिक्षक ने बोला कि दोनों बच्चों ने होमवर्क पूरा नहीं किया है। होमवर्क पूरा नहीं करने पर उनकी थोड़ी पिटाई कर दी गई है, लेकिन स्वजनों को इस बात का अंदाजा नहीं था कि बच्चों के साथ हैवानियत की गई है।
पड़े गए थे फफोले, दर्द से कराह रहे थे बच्चेकुछ देर बाद दोनों बच्चे घर पहुंचे। छोटे बच्चे के दोनों पैर और बड़े की हथेली पर जलने का निशान था। पैर और हाथ में फफोले पड़ गए थे। जलन और दर्ज से दोनों बच्चे कराह रहे थे। बच्चों ने पिता को बताया होमवर्क पूरा नहीं होने पर टीचर ने गर्म चम्मच से उन्हें बार बार दाग रहे थे। इसके बाद दोनों बच्चों को पास के अस्पताल में ले जाया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद वापस घर लौट गए।
दोपहर में थाना पहुंचे स्वजन, शाम में केस दर्जस्वजनों का आरोप है कि आरोपित शिक्षक के बारे में यह भी बताया जाता है कि वह पूर्व में भी बच्चों के साथ हैवानियत कर चुका है। मामला थाने तक न पहुंचे, इसके लिए वह मामला दबा देता है। दोनों बच्चों के मामले में भी आरोपित शिक्षक इसी प्रयास में था, लेकिन बात थाने तक पहुंच गई। अब पुलिस पूर्व की घटनाओं के बारे में भी जानकारी जुटा रही है।
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Tejashwi Yadav: 'मैं किताब लिखूंगा...', नीतीश कुमार के बयान पर तेजस्वी का सॉलिड जवाब, कहा- एक-एक चीज बताऊंगा
एएनआई, पटना। Bihar Politics News Hindi: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के लालू यादव पर 'इतना बाल बच्चा' वाले बयान के बाद सियासी बवाल मच गया है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) नेता तेजस्वी यादव ने रविवार को कहा कि वह नीतीश कुमार का सम्मान करते हैं और सीएम अपने परिवार के लिए जो भी कहते हैं वह उनके लिए आशीर्वाद होगा।
प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए तेजस्वी यादव ने कहा कि इस तरह की टिप्पणियों से बिहार की जनता को कोई फायदा नहीं होता है।
तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने कहा कि "मैंने कल भी कहा था, हम नीतीश कुमार का पूरा सम्मान करते हैं। वह हमारे परिवार के लिए जो भी कहते हैं, हम इसे आशीर्वाद के रूप में देखते हैं लेकिन ये व्यक्तिगत बातें हैं और इससे लोगों को कोई फायदा नहीं होगा।
तेजस्वी बोले- समय आने पर किताब लिखूंगातेजस्वी यादव ने कहा कि यह लोकसभा चुनाव चल रहा है और इन सब बातों पर बात करने से बिहार और देश के लोगों को कोई फायदा नहीं है, यह एक व्यक्तिगत मामला है। राजद नेता ने कहा कि समय आने पर वह एक किताब लिखेंगे और सब कुछ समझाएंगे।
तेजस्वी यादव ने कहा कि अब स्थिति यह है कि 4-5 लोगों ने हमारे चाचा (नीतीश कुमार) को हाईजैक कर लिया है, और समय आने पर मैं एक किताब लिखूंगा, इन सभी चीजों को समझाऊंगा। यह पहली बार नहीं है कि उन्होंने ऐसा कहा है।
मैं चाचा के अच्छे स्वास्थ्य की प्रार्थना करता हूं: तेजस्वी यादवतेजस्वी यादव ने कहा कि उन्होंने 2020 के चुनाव में भी यही कहा था। मैं केवल प्रार्थना कर सकता हूं कि उनका स्वास्थ्य अच्छा रहे और वह खुशी से रहें. यह हमारी संस्कृति में नहीं है कि हम किसी ऐसे व्यक्ति से कुछ कहें जो हमारे लिए पितातुल्य हो।
तेजस्वी यादव की प्रेस कॉन्फ्रेंस लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के पूर्व नेता और कटिहार के सांसद चौधरी महबूब अली कैसर के रविवार को राजद में शामिल होने के बाद आयोजित की गई थी।
नीतीश कुमार के बयान पर तेजस्वी की प्रतिक्रिया तब आई जब नीतीश ने शनिवार को पार्टी में नेतृत्व की कमान एक परिवार के सदस्य से दूसरे को दिए जाने को लेकर लालू प्रसाद पर ताना मारा और पूछा कि क्या किसी को इतने सारे बच्चे पैदा करने चाहिए।
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Bihar Politics : इन पांच सीटों पर महागठबंधन की 2019 से अलग रणनीति, क्या इस बार NDA को दे सकेंगे पटखनी?
सुनील राज, पटना। Bihar Politics In Hindi दूसरे चरण के चुनाव में अब ज्यादा समय नहीं बचा है। दूसरे चरण में बिहार की पांच सीटों पर मतदान होना है। इसको लेकर सभी दल अब कमोबेश पूरी तरह से तैयार हैं। दोनों गठबंधन का ध्यान अब दूसरे चरण की लड़ाई पर है।
दूसरे चरण में जिन पांच सीटों पर चुनाव होना है उसमें बांका, पूर्णिया, भागलपुर और कटिहार सीटों पर 2019 का चुनाव जदयू ने जीता था। जबकि किशनगंज की एक मात्र सीट पर कांग्रेस ने जीत हासिल की थी। दूसरे चरण के इस चुनाव में पांच सीटों पर एनडीए की सहयोगी जदयू के उम्मीदवार मैदान में होंगे।
जबकि महागठबंधन की ओर से तीन सीट कटिहार, किशनगंज और भागलपुर में एनडीए के सामने कांग्रेस के उम्मीदवार होंगे तो दो सीट बांका और पूर्णिया में राजद जदयू को टक्कर देगा। महागठबंधन के इन दो प्रमुख दलों पर आधी-आधी लड़ाई का जिम्मा होगा।
2014 और 2019 से जदयू के कब्जे में पूर्णिया संसदीय सीटदूसरे चरण की इन पांच सीटों की बात की जाए तो पूर्णिया संसदीय सीट 2014 और 2019 से जदयू के कब्जे में रही है। इस सीट पर 2009 और 2004 में भाजपा ने जीत दर्ज की थी। जबकि 1999 के लोकसभा चुनाव में राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने स्वतंत्र रूप से जीत दर्ज की थी।
राष्ट्रीय जनता दल ने पूर्णिया संसदीय सीट पर 1989 में कब्जा किया था। तब पार्टी के वरिष्ठ नेता मो. तस्लीमुद्दीन ने इस सीट पर जीत दर्ज की थी। इसके बाद 1991 और 1996 में यह सीट पप्पू यादव के कब्जे में रही। इस बार राजद ने यहां से बीमा भारती को उम्मीदवार बनाया है। बीमा के खिलाफ जदयू ने पूर्व विजेता संतोष कुशवाहा को उतारा है।
इन दोनों के बीच पप्पू यादव भी चुनाव मैदान में और निर्दलीय ताल ठोंक रहे हैं। बांका संसदीय सीट वैसी सीट है जहां से मधु लिमये, चंद्रशेखर सिंह और मनोरमा देवी चुनाव जीतती रही हैं। इस सीट पर निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में दिग्विजय सिंह और बाद में उनकी पत्नी पुतुल सिंह ने भी जीता।
2014 के लोकसभा चुनाव में राजद ने जयप्रकाश नारायण यादव को उम्मीदवारी दी और वे चुनाव जीतने में सफल भी रहे। लेकिन, 2019 के चुनाव में जदयू उम्मीदवार गिरिधारी यादव ने जय प्रकाश को पराजित करते हुए सीट अपने नाम कर ली।
बांका संसदीय सीट पर क्या है समीकरण?इस बार बांका संसदीय सीट पर एक बार फिर राजद से जय प्रकाश और जदयू की ओर से फिर गिरिधारी यादव मैदान में हैं। भागलपुर संसदीय सीट पर जदयू के अजय कुमार मंडल और कांग्रेस के बीच टक्कर होगी। 1980-84 तक भागलपुर कांग्रेस की पारंपरिक सीट हुआ करती थी।
लालू प्रसाद के बिहार की राजनीति में उदय के बाद 1989 से लेकर 1996 तक यह सीट जनता दल के पास रही। 2004 से लेकर 2009 के यहां भाजपा का कब्जा रहा। लेकिन, 2014 के चुनाव में यह सीट राजद के पाले में आ गई।
तब राजद के शैलेश कुमार उर्फ बुलो मंडल ने इस पर जीत दर्ज की थी। लेकिन 2019 का चुनाव जदयू ने जीता। भागलपुर में कांग्रेस एक बार फिर अपनी खोई जमीन हासिल करने मैदान में है। कांग्रेस से अजीत शर्मा और जदयू से अजय कुमार मंडल के बीच यहां टक्कर होनी है।
किशनगंज और कटिहार क्षेत्र में कैसी है स्थिति ?किशनगंज और कटिहार क्षेत्र में एक सीट पिछले चुनाव जदयू ने जीती तो दूसरी सीट कांग्रेस ने। कटिहार सीट से दुलालचंद गोस्वामी मैदान में थे। जिनका मुकाबला कांग्रेस के तारिक अनवर से हुआ। तारिक पराजित हुए। तारिक अनवर 1980, 1984, 1996 और 1998 तक जीत प्राप्त की इसके बाद यहां भाजपा आ गई।
2014 में तारिक फिर जीते और भाजपा के निखिल चौधरी पराजित रहे। 2019 में दुलालचंद ने तारिक को पराजित कर जीत प्राप्त की। इस सीट पर ये दोनों उम्मीदवार फिर आमने सामने हैं। दूसरी ओर किशनगंज संसदीय सीट 2009 से कांग्रेस के पास रही है। दो बार सीट पर कांग्रेस के असरारूल हक ने जीत दर्ज की।
2019 के लोकसभा चुनाव में नरेन्द्र मोदी की प्रचंड लहर में भी कांग्रेस अपनी यह सीट बचाने में सफल रही थी। तब मो. जावेद ने जदयू उम्मीदवार मो. अशरफ को पराजित कर महागठबंधन को एक मात्र जीत दिलाई थी। इस चुनाव यहां जदयू के मुजाहिद आलम और कांग्रेस के मो. जावेद के बीच टकराव होगा।
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Nitish Kumar: लालू को 2 बड़ी चोट दे गए नीतीश कुमार, क्या संभल पाएंगे राजद सुप्रीमो? सियासी घमासान तय
जागरण टीम, पूर्णिया/कटिहार। Bihar Politics News Hindi: एनडीए प्रत्याशी के समर्थन में शनिवार को पूर्णिया के बनमनखी और कटिहार के कदवा में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने लालू प्रसाद यादव को 2 बड़ी चोट दे गए। ऐसी चोट कि जिसकी लालू को कभी उम्मीद नहीं थी। पहला मुस्लिम वोटरों को लेकर फिर दूसरा उन्होंने परिवारवाद पर हमला करके लालू यादव को बुरी तरह घेरा। यहां तक कि चारों बेटे-बेटियों को भी नहीं छोड़ा।
लालू ने मुसलमानों को सिर्फ ठगा: नीतीश कुमारनीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने कहा कि आरजेडी ने अपने 15 वर्षों के कार्यकाल में मुसलमानों के लिए कुछ नहीं किया। एनडीए की सरकार क्रबिस्तानों की घेराबंदी के साथ सरकारी सहायता प्राप्त मदरसा को भी सरकारी स्कूलों की तरह सुविधा दे रही है। शिक्षा क्षेत्र में विकास के कारण मुस्लिम लड़कियों का भी पढ़ाई की ओर रूझान हुआ है।
कदवा विधानसभा क्षेत्र के डंडखोरा स्थित डुमरिया के सदानंद उच्च विद्यालय के मैदान में एनडीए के जदयू प्रत्याशी दुलालचंद्र गोस्वामी के समर्थन में चुनावी सभा करने पहुंचे नीतीश कुमार ने लालू प्रसाद यादव पर तंज कसा। कहा, लालू को इतने बच्चे पैदा नहीं करने चाहिए।
जंगलराज भी बोल गए नीतीशनीतीश कुमार इतने आक्रामक हो गए कि जिस जंगलराज शब्द का उन्होंने कभी प्रयोग नहीं किया था, उस शब्द को भी उन्होंने बीच जनसभा में कह डाला।
लालू परिवारवाद को बढ़ावा दे रहे: नीतीश कुमारनीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने कहा कि वे परिवारवाद को बढ़ावा दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि एनडीए इस बार 400 का आंकड़ा पार करेगी। वहीं, पूर्णया के बनमनखी सुमरित उच्च विद्यालय के मैदान में नीतीश ने एनडीए प्रत्याशी संतोष कुशवाहा के लिए वोट मांगा। केंद्र में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए प्रत्याशी को विजयी बनाने की अपील की।
मुख्यमंत्री ने कहा, 2005 से हमें मौका मिला है, तब से बिहार के विकास के लिए काम कर रहे हैं। हमसे पहले का राज याद है ना, कोई शाम में नहीं निकलता था। पति-पत्नी का राज था, खुद हटे तो पत्नी को सत्ता दे दी। कहीं आने जाने का रास्ता नहीं था। अब चारों बेटा-बेटी को लगा दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम लोग सांसद भी थे और केंद्र में मंत्री भी थे और अपने क्षेत्र में जाते थे, तो पैदल ही चलते थे। क्या हालत थे, उनलोगों के जमाने में। जीविका योजना की प्रशांसा करते हुए कहा, पहले महिलाएं कपड़े पहन नहीं घूम पाती थीं, अब बढ़िया कपड़ा पहनती हैं।
पहले लड़कियों की शिक्षा की हालत खराब: नीतीश कुमारनीतीश कुमार ने कहा कि पहले लड़कियों की शिक्षा की हालत खराब थी। प्रजनन दर अधिक था, लेकिन जब लड़कियां पढ़ती हैं तो प्रजनन दर घटता है। बिहार में भी ये घटा है। लड़कियों के लिए पोशाक और साइकिल दी। बाद में लड़कों को भी इसका लाभ दिया। हम नई पीढ़ी के लोग जो यहां बैठे हैं, उनसे कहेंगे कि जंगल राज को याद करिए।
कहा, लालू परिवार पर हमला करते हुए बोले, हमने तो बीच में मौका दिया था। अब हमारे काम को बेटा अपना काम बता रहा। दो बार हम इधर-उधर हुए हैं, लेकिन अब कहीं नहीं जाएंगे। देश का विकास प्रधानमंत्री कर रहे हैं और बिहार का विकास हम कर रहे हैं।
हमलोग 40 सीटें जीतेंगे: नीतीश कुमारनीतीश कुमार ने कहा कि बिहार में 40 सीटें हम लोग जीतेंगे। तीसरी बार नरेन्द्र मोदी को प्रधानमंत्री बनाना है। वोटरों को आगाह करते हुए कहा कि किसी के बहकावे में नहीं आए। हमने पूरा काम किया है और आगे भी काम करते रहेंगे। पूर्णिया में मंत्री डा. दिलीप जयसवाल और कटिहार में राज्यसभा सदस्य संजय झा और जदयू नेता अशफाक करीम आदि मौजूद थे।
मंत्री नहीं बनाया तो राजद में चली गईंनीतीश कुमार ने बीमा भारती पर बिना नाम लिए इशारे-इशारे में हमला बोलते हुए कहा की एक महिला थी जिसको हम एक बार मंत्री भी बनाए थे। बार-बार कह रही थी हमको मंत्री बनाईये-मंत्री बनाइये। हम बोले अभी मंत्री नहीं बना पाएंगे अभी कोई उपाय नहीं है। वह आजकल भागकर आरजेडी में चली गई।
सभी जाति धर्म के लिए काम कर रही सरकारनीतीश ने कहा कि राज्य सरकार सभी जाति व धर्म के लिए काम कर रही है। 60 वर्ष से अधिक पुराने मंदिरों की घेराबंदी कराई जा रही है। जीविका के माध्यम से महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। बिहार में स्वयं सहायता समूह व जीविका दीदी के कार्यों की प्रशंसा विदेशों में भी हुई।
बिहार राज्य मदरसा बोर्ड का पूर्णिया में क्षेत्रीय कार्यालय खोला गया है। पूर्णिया में मेडिकल कालेज, पारा मेडिकल कालेज संस्थान, एएनएम, जीएनएम स्थापना की गई है। पूर्णिया में तो अब बहुत जल्द हवाई अड्डा भी बनकर तैयार हो जाएगा।
बाबा सिंहेश्वर मंदिर पहुंचे मुख्यमंत्री, बाबा का किया जलाभिषेकमधेपुरा : अपने प्रत्याशियों व एनडीए की जीत सुनिश्चित करने के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार की शाम बाबा सिंहेश्वर नाथ से प्रार्थना की। सिंहेश्वर स्थान मंदिर में बाबा का जलाभिषेक किया। मुख्यमंत्री अक्सर मधेपुरा में रहने के दौरान बिना पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के भी बाबा का दर्शन करने व जलाभिषेक करने आते रहे हैं।
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राज्य ब्यूरो, पटना। Bihar Politics In Hindi लोकसभा चुनाव में कांग्रेस (Congress) के प्रत्याशियों के चयन को लेकर रविवार को केंद्रीय चुनाव समिति (सीईसी) की बैठक सुबह 10.30 बजे आयोजित की गई है। यह माना जा रहा है कि सीईसी की बैठक में बिहार के छह प्रत्याशियों के नाम पर मुहर लग जाएगी।
अभी तक बिहार में कांग्रेस ने अपने हिस्से की कुल नौ सीटों में से सिर्फ तीन सीटों पर प्रत्याशियों के नामों की घोषणा की है। अभी तक छह लोकसभा सीटों पर कांग्रेस के प्रत्याशियों की घोषणा नहीं हुई है। स्थिति यह है कि चौथे चरण के नामांकन का तीन दिन गुजर गया है पर अभी तक वहां पर प्रत्याशी के नाम पर मुहर नहीं लगी है।
चौथे फेज में कांग्रेस के हिस्से में समस्तीपुर (अनुसूचित जाति) की सीट महागठबंधन में प्राप्त हुई है। इसके अलावा मुजफ्फरपुर, पश्चिम चंपारण, पटना साहिब, सासाराम एवं महाराजगंज लोकसभा क्षेत्र के प्रत्याशियों के नामों की घोषणा बाकी है। यह माना जा रहा है कि रविवार को केंद्रीय चुनाव समिति द्वारा अपने छह प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी जाएगी।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष आज पहुंचेंगे नेथुआकांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और राज्य सभा सांसद अखिलेश प्रसाद सिंह हेलीकाप्टर से मढ़ौरा के नेथुआ गांव रविवार को पहुंचेंगे। इस दौरान वे पूर्व मुखिया मुन्ना ठाकुर के यहां तिलकोत्सव में भाग लेंगे।
उनके आगमन को लेकर नेथुआ में हेलीपैड तैयार कर लिया गया है। साथ ही सभी सुरक्षा के मानकों को लेकर प्रशासनिक पदाधिकारियों ने भी जायजा लिया है। वे दोपहर 12 बजे पहुंचेंगे और करीब पांच बजे शाम में वापस लौटेंगे। इस दौरान अग्निशमन वाहन सहित अन्य सुरक्षा व्यवस्था की गई है।
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Bihar Weather Today: बिहार के 8 जिलों में पड़ेगी भीषण 'लू', पटना-शेखपुरा में टूटा तापमान का रिकॉर्ड, येलो अलर्ट जारी
जागरण संवाददाता, पटना। Bihar Weather News Hindi: तेज पछुआ हवा ने बिहार के अधिकतर जिलों का तापमान काफी बढ़ा दिया है। शनिवार इस मौसम का सर्वाधिक गर्म दिन रहा। शेखपुरा राज्य का सर्वाधिक गर्म स्थान रहा, वहां पर तापमान ने रिकॉर्ड तोड़ते हुए 44.1 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। जो सामान्य से 6.2 डिग्री सेल्सियस अधिक है। औरंगाबाद में 43.7, जमुई और नवादा में 43.2, भोजपुर में 42.7, गया में 43, बांका में 42.6 एवं पटना में 42.2 डिग्री तापमान रिकार्ड किया गया।
गर्म हवा के झोंकों से सुबह दस बजे से ही तापमान में वृद्धि शुरू हो जा रही है, यह सूर्यास्त तक जारी रहती है। अगले चार दिन तक ऐसी स्थिति बरकरार रहने के आसार है।
बिहार के 8 जिलों के लिए येलो अलर्ट जारीभीषण गर्मी के मद्देनजर पटना मौसम विज्ञान केन्द्र ने दक्षिण बिहार के अधिकांश जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी कर दिया है। इसमें पटना, भोजपुर, जमुई, शेखपुरा, औरंगाबाद, बांका, नवादा और नालंदा शामिल हैं। लोगों को सावधान रहने की सलाह दी गई है।
अगले दो-तीन दिनों में तापमान में 2-3 डिग्री की बढ़ोतरीBihar News: अगले दो दिनों में तापमान में तीन डिग्री सेल्सियस की वृद्धि हो सकती है। तीन जिलों में उष्ण लहर या लू रिकार्ड की गई। शेखपुरा, जमुई एवं बांका में ऐसी ही स्थिति रही। कई शहरों का तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से अधिक रिकार्ड किया गया।
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रमण शुक्ला, पटना। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और बिहार के उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी की गिनती उन नेताओं में होती है, जिनके अंदर जो कुछ पक रहा होता है, वह अप्रिय ही क्यों न हो, बाहर निकालने में हिचकते नहीं है।
बात 17 मार्च 2021 की है। उस समय के विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा सदन की कार्यवाही का संचालन कर रहे थे। सम्राट पंचायती राज मंत्री की हैसियत से विधायकों के प्रश्न का जवाब दे रहे थे। विभाग की ओर से सही समय पर जवाब न आने के लिए सिन्हा ने सम्राट चौधरी को टोका। जवाब मिला- ज्यादा व्याकुल नहीं होना है। सिन्हा कुछ देर चुप रहे, फिर आसन से उठकर अपने कमरे में चले गए।
10 अगस्त 2022 को नीतीश कुमार राजग से अलग हुए तो उसके कुछ दिनों बाद सम्राट ने माथे पर पगड़ी बांध ली। घोषणा की कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को गद्दी से उतारने के बाद ही यह पगड़ी खुलेगी। लेकिन, राजनीतिक चक्र ऐसा कि वे नीतीश सरकार में नम्बर दो मंत्री बने। उस दिन से यह प्रश्न उनका पीछा नहीं छोड़ रहा है कि वे पगड़ी कब उतारने जा रहे हैं।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष एवं उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी से दैनिक जागरण के विशेष संवाददाता रमण शुक्ला ने लंबी बातचीत की। प्रस्तुत हैं इसके प्रमुख अंश।
प्रश्न : लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा ने आपको प्रदेश अध्यक्ष के साथ उप मुख्यमंत्री का दायित्व सौंपकर दोहरी जिम्मेदारी बढ़ा दी है। संगठन एवं सरकार के स्तर पर कितना दबाव महसूस कर रहे हैं। आपके नेतृत्व की भी परीक्षा है।
उत्तर : 33-34 वर्षों के संसदीय एवं सामाजिक जीवन में 16 से 18 घंटे पार्टी एवं सरकार के कामकाज के प्रति समर्पित रहा हूं। ऐसे में दबाव तो मैंने कभी महसूस नहीं किया। जहां तक दोहरे दायित्व के दबाव की आप बात कर रहे हैं तो यह मेरे लिए सौभाग्य की बात है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष जेपी नडडा एवं गृह मंत्री अमित शाह के भरोसा व स्नेह का प्रतिफल है। मेरी कोशिश है कि पार्टी नेतृत्व, राजग के सहयोगियों के साथ ही बिहार के 14 करोड लोगों की कसौटी पर खडा उतरूं।
प्रश्न : बिहार की 40 सीटों पर सबसे अधिक चुनौती किस सीट पर है?
उत्तर : देखिए बिहार की 40 की 40 सीटों पर राजग का प्रत्याशी भले ही कोई और है, लेकिन लड़ाई प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी लड़ रहे हैं। 18वींं लोकसभा की लड़ाई नया भारत बनाने की है। परिवारवाद, भ्रष्टाचार, जंगलराज एवं गुंंडा राज के विरूद्ध है।
बालू, दारू एवं भू माफिया के चंगुल से बिहार को बचाने की लड़ाई है। सत्ता के दुरूपयोग को रोकने की लड़ाई है। ऐसे में सिर्फ एक सीट किशनगंज में थोडी मेहनत की जरूरत है।
प्रश्न : बिहार में भाजपा का मुख्य एजेंड क्या होगा?
उत्तर: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की गारंटी ही चुनाव का मुख्य एजेंडा है। ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका प्रयास एवं सबका विश्वास’ के संकल्प के आधार पर मोदी के विकास एवं जनकल्याणकारी योजनाओं की गारंटी ही भाजपा का मुख्य एजेंडा है।
राजग सरकार के दौरान लिए गए निर्णय के तहत बंपर भर्तियां हुईं है। केंद्र की योजनाओं एवं कार्यक्रमों का बिहार में व्यापक असर है। पीएम किसान सम्मान निधि के तहत बिहार के 81 लाख किसान लाभान्वित है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत बिहार में 1.61 करोड़ शौचालय बनाए गए हैं।
उज्ज्वला योजना के तहत बिहार में 1.2 करोड़ से ज्यादा गरीब महिलाओं को गैस कनेक्शन दिए गए हैं। गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत बिहार के 8.71 करोड़ गरीबों को हर महीने मुफ्त अनाज दिए जा रहे हैं। पीएम आवास योजना से बिहार में 53.49 लाख लोग लाभान्वित हुए हैं।
आजादी के बाद पहली बार इस योजना के तहत 82 प्रतिशत मकानों का मालिकाना हक महिलाओं को दिया गया है। 4.45 लाख गरीब इसका लाभ ले चुके हैं। जन धन योजना के तहत बिहार में 5.38 करोड़ खाते खोले गए हैं। यह सब मोदी की गारंटी का ही परिणाम है।
प्रश्न : सांसद अजय निषाद ने भाजपा से नाता तोड़ लिया है। मुजफरपुर सीट पर इससे नुकसान हो सकता है।
उत्तर : देखिए भाजपा व्यक्ति नहीं, कैडर आधारित पार्टी है। भाजपा ही एक ऐसी पार्टी है जिसमें पन्ना प्रमुख एवं बूथ कार्यकर्ता भी शीर्ष पद पर बैठ सकता है।
पार्टी अजय निषाद के लिए कुछ और बढि़या सोच रही थी, लेकिन वह समझ नहीं पाए। देश का सहनी समाज नरेन्द्र मोदी के साथ हैं। मल्लाह-सहनी समाज को भाजपा ने जितना दिया शायद उतना आज तक किसी पार्टी ने दिया।
ओबीसी आयोग को जब संवैधानिक दर्जा दिया गया तो इस आयोग के पहले अध्यक्ष भी सहनी समाज से आने वाले भगवान लाल सहनी बने। बिहार के इतिहास में पहली बार विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष भाजपा ने हरि सहनी को बनाया।
प्रश्न: जन जननायक कर्पूरी ठाकुर को मरणोपरांत भारत रत्न देने से भाजपा का कोई लाभ होगा
उत्तर: जननायक कर्पूरी ठाकुर को मरणोपरांत भारत रत्न मिलने पर बिहार के करोड़ों पिछड़े, अतिपिछड़े अपने को सम्मानित महसूस कर रहे हैं। जननायक के सम्मान से पूरा बिहार गौरवान्वित है।
देश में जिसे कोई नहीं पूछता है उसे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पूजते हैं। यह जननायक को भारत रत्न देने से प्रमाणित हो गया है। कांग्रेस और राजद ने हमेशा कर्पूरी जी की उपेक्षा की।
राजद कर्पूरी जी के नाम का इस्तेमाल तो अपनी राजनीति को चमकाने के लिए करता रहा मगर उसकी फितरत हमेशा उन्हें अपमानित करने की रही।
राजद ने बार-बार कर्पूरी जी का उपहास उड़ाया बल्कि पिछड़ों,अतिपिछड़ों को भी ठगा है। बिहार का पिछड़ा-अतिपिछड़ा समाज इसके लिए राजद को कभी माफ नहीं करेगा।
जिस अहंकारी, परिवारवादी कांग्रेस के खिलाफ कर्पूरी आजीवन लड़ते रहे, सत्ता एवं कुर्सी के लिए लालू यादव को उसी कांग्रेस की गोद में बैठने में जरा भी शर्मिंदगी महसूस नहीं हुई।
प्रश्न: आपकी पगड़ी/मुरेठा विपक्ष में रहने के दौरान बहुत चर्चा में रही थी। यह अब भी लोगों के कौतूहल का विषय बना हुआ है। कब उतारेंगे
उत्तर: समय आने पर अयोध्या जाकर भगवान श्रीराम की चरणों में समर्पित करूंगा।
प्रश्न : लोकसभा चुनाव भाजपा की सबसे बड़ी चुनौती क्या है? कोई रणनीति, कैसे निपटेंगे?
उत्तर : भाजपा को अपने काम एवं अपने नेतृत्व पर पूरा भरोसा है। भाजपा संगठनात्मक स्तर पर काफी मजबूत है। भाजपा का एक-एक कार्यकर्ता जनता के बीच है और वह प्रधानमंत्री के 10 साल के कार्यों व उपलब्धियों को जनता तक पंहुचा रहे हैं। जनता भी पूरी तरह से भाजपा के साथ है।
भाजपा विपक्ष के हर प्रपंच से निबटने के लिए पूरी तरह से तैयार है। जनता के बीच विपक्ष की कोई विश्वसनीयता नहीं है। 2019 के लोकसभा चुनाव में राजद जीरो पर आउट हुआ था।
इस बार बिहार में आइएनडीआइए का खाता नहीं खुलने वाला है। भाजपा अपने सहयोगी पार्टियों के साथ बिहार की सभी लोकसभा सीटों पर अपनी जीत सुनिश्चित करेगी। कहीं, किसी स्तर पर कोई चुनौती नहीं है।
प्रश्न : सरकार में उप मुख्यमंत्री के साथ ही कम अवधि के लिए लेकिन आपके पास नौ विभागों का दायित्व था। जनता के बीच संदेश देने के लिए आपने कोई विशेष पहल की हो?
उत्तर : मेरा सर्वोपरि लक्ष्य है मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सुशासन को नए सिरे स्थापित करना है। विधि व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए स्पीडी ट्रायल की निगरानी बढ़ाई जाएगी। शहरीकरण के विकास दर को 36 प्रतिशत तक पहुंचाना है।
बिहार के 43 शहर में सेटेलाइट सिटी बसाने के लिए 500 से 1000 एकड़ का लैंड बैंक बनाएंगे। इसमें एक हजार से लेकर पांच हजार फलैट का निर्माण कराकर शहर में रहने वाले लोगों को सस्ता आवास उपलब्ध कराना है।
साथ ही दो शहर राजगीर एवं भागलपुर में वैश्विक स्तर का हवाई अड्डा राज्य सरकार की पहली शीर्ष प्राथमिकता है। इसके अलावा स्वास्थ्य के क्षेत्र में मात्र 15 दिनों के भीतर करीब ढ़ाई करोड़ लोगों को पांच लाख रुपये तक के इलाज के लिए आयुष्मान कार्ड बनाया गया है।
प्रश्न : नियोजित शिक्षकों को भाजपा विशेषकर सम्राट चौधरी से बहुत भरोसा था। उनका आरोप है कि अब आप उनकी नहीं सुन रहे हैं। क्या कहेंगे।
उत्तर : मैंने नियोजित शिक्षकों को जो भरोसा दिया था उस कसौटी पर खरा उतर रहा हूं। मैंने कहा था समक्षता परीक्षा नहीं देने वाले किसी की नौकरी नहीं जाएगी। आज भी उस पर कायम हूं।
सक्षमता परीक्षा पास करने वाले 94 प्रतिशत से अधिक शिक्षकों को उनकी मांग के अनुकूल पदस्थान वाले जिले दिए गए हैं। आगे भी उनकी मांगों पर सकारात्मक तरीके मुख्यमंत्री नीतीश कुमार विचार कर रहे हैं।
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BPSC TRE 3 Paper Leak: शिक्षक भर्ती पेपर लीक में EOU को मिली बड़ी सफलता, उज्जैन से धरे गए 5 जालसाज
राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) के द्वारा ली गई शिक्षक भर्ती के तृतीय चरण की परीक्षा के पेपर लीक मामले में बड़ी सफलता मिली है।
मामले की जांच कर रही आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) ने मध्यप्रदेश के उज्जैन से पांच आरोपितों को गिरफ्तार किया है। इसमें एक महिला भी शामिल है।
यह सभी मूल रूप से बिहार के रहने वाले हैं। ईओयू की टीम सभी को पटना ला रही है, जहां सोमवार तक इन्हें पटना कोर्ट में पेश किया जाएगा। इनके विरुद्ध परीक्षा में गड़बड़ी और पेपर लीक से जुड़े अहम साक्ष्य मिले हैं।
ईओयू सूत्रों के अनुसार, पेपर लीक मामले में हजारीबाग और पटना से गिरफ्तार आरोपितों से पूछताछ में इनका सुराग मिला था। इसके बाद से ही ईओयू आरोपितों की तलाश कर रही थी।
इसी बीच पेपर लीक से जुड़े पांच प्रमुख आरोपितों के उज्जैन में होने की जानकारी मिली, जिसके बाद ईओयू के विशेष दल ने छापेमारी कर सभी को गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के बाद सभी को उज्जैन कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने ईओयू के आवेदन पर सभी पांच आरोपितों को 22 अप्रैल तक ट्रांजिट रिमांड पर सौंपा है।
पेपर लीक का किंगपिन हो सकता है गिरोहपुलिस सूत्रों के अनुसार, उज्जैन से गिरफ्तार पांचों अभियुक्त पेपर लीक कांड के किंगपिन हो सकते हैं। इसमें गिरफ्तार महिला की भी सक्रिय भूमिका है।
ईओयू अधिकारियों के अनुसार, उज्जैन से गिरफ्तार पांचों आरोपितों की पहचान अभी गुप्त रखी गई है, ताकि उनके अन्य सदस्यों तक पहुंचा जा सके। पटना में कोर्ट में पेशी के बाद उज्जैन से गिरफ्तार पांचों आरोपितों ईओयू रिमांड पर लेने का प्रयास करेगी।
रिमांड मिलने के बाद इनसे शिक्षक भर्ती परीक्षा के पेपर लीक मामले में विस्तृत पूछताछ की जाएगी। इस पूछताछ में शिक्षक भर्ती की तृतीय चरण की परीक्षा के पेपर लीक मामले में कई अहम खुलासे हो सकते हैं।
परीक्षा से एक दिन पहले लीक हो गया था पेपरबिहार लोक सेवा आयोग के द्वारा तीसरे चरण की शिक्षक भर्ती परीक्षा 15 मार्च को आयोजित की गई थी। ईओयू की प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई है कि प्रश्नपत्र परीक्षा से एक दिन पूर्व ही लीक हो गया था।
इस मामले में ईओयू ने झारखंड के हजारीबाग में छापेमारी कर करीब 270 लोगों को गिरफ्तार किया था, जिसमें अभ्यर्थियों के साथ पेपर लीक और साल्वर गिरोह के सदस्य शामिल थे।
जांच में साल्वर गिरोह के प्रश्नपत्र और बीपीएससी कार्यालय से लिए गए परीक्षा के प्रश्न-पत्र का मिलान किया गया जो हूबहू एक समान पाया गया।
संगठित गिरोह के सदस्यों ने प्रश्न-पत्र का प्रिंट निकालकर अभ्यर्थियों के अलग-अलग समूहों को उत्तर याद करने के लिए उपलब्ध कराया था।
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