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Holi Kab Hai 2025: कभी 14 तो कभी 15 मार्च, होली की डेट को लेकर दूर करें कन्फ्यूजन; ये है शुभ मुहूर्त

Dainik Jagran - March 11, 2025 - 8:33pm

जागरण संंवाददाता, पटना। होली की तारीख (Holi 2025 Date) लेकर इस बार लोगों में संशय की स्थिति है। मिथिला व बनारस पंचांग में 13 मार्च गुरुवार को होलिका दहन होगा। फाल्गुन शुक्ल की पूर्णिमा दो दिन होने से होलिका दहन के एक दिन बाद यानी 15 मार्च को होली का पर्व मनाया जाएगा।

फाल्गुन पूर्णिमा का व्रत 13 मार्च गुरुवार को तथा स्नान-दान की पूर्णिमा 14 मार्च शुक्रवार को होगी। फाल्गुन पूर्णिमा गुुरुवार की सुबह 10.11 बजे से शुरू हो रहा है और भद्रा भी उसी समय से आरंभ हो रहा है। भद्रा गुरुवार की रात 10.47 बजे तक रहेगी। 14 मार्च शुक्रवार को पूर्णिमा तिथि दोपहर 11.22 बजे तक है।

ज्योतिष आचार्य पंडित राकेश झा ने पंचांगों के हवाले से बताया कि पूर्णिमा तिथि पर शिव वास योग के साथ बव करण शुभ योग बना रहेगा। ऐसे में भगवान शिव की पूजा से घर में सुख-समृद्धि की वृद्धि होगी। ज्योतिष शास्त्र में होलिका दहन को लेकर नियम बताए गए हैं। होलिका दहन के दिन पूर्णिमा तिथि का होना, भद्रा से रहित समय और रात्रि का समय शुभ माना जाता है।

भद्रा में होलिका दहन करना वर्जित माना गया है। 13 मार्च की रात में पूर्णिमा तिथि विद्यमान रहेगी तथा भद्रा रात्रि के 10.47 बजे खत्म हो जाएगा। ऐसे में भद्रा समाप्ति के बाद उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र में होलिका दहन होगा। शुक्रवार 14 मार्च को सूर्याेदयकालीन पूर्णिमा, स्नान-दान की पूर्णिमा, कुलदेवता को सिंदूर अर्पण किया जाएगा।

रोग-शोक निवृत्ति हेतु होलिका की होगी पूजा

होलिका दहन के दिन होलिका की पूजा में अक्षत, गंगाजल, रोली-चंदन, मौली, हल्दी, दीपक, मिष्ठान आदि से पूजन होगा। पूजन के बाद होलिका में गुड़, कर्पूर, तिल, धुप, गुगुल, जौ, घी, आम की लकड़ी, गाय के गोबर से बने उपले (गोइठा) डालकर सात बार परिक्रमा करने से परिवार की सुख-शांति, समृद्धि में वृद्धि, नकारात्मकता का ह्रास, रोग-शोक से मुक्ति व मनोकामना की पूर्ति होती है।

  • होलिका दहन की पूजा करने से होलिका की अग्नि में सभी दुःख, कष्ट, रोग-दोष जलकर खत्म हो जाते हैं।
  • होलिका के जलने के बाद उसमे चना या गेहूं की बाली को पकाकर प्रसाद स्वरूप ग्रहण करने से स्वास्थ्य अनुकूल, दीर्घायु, ऐश्वर्य में वृद्धि होती है।
  • होलिका दहन के भस्म को पवित्र माना गया है। होली के दिन संध्या बेला में भस्म का टीका लगाने से सुख-समृद्धि और आयु में वृद्धि होती है।

हाेलिका दहन के साथ भगवान से नई फसल की खुशहाली की कामना की जाती है। होलिका पूजन के दौरान मेष, वृश्चिक, सिंह, व वृष राशि वाले गुड़ की आहुति दें। मिथुन, तुला व कन्या कर्पूर की आहुति दें। कर्क राशि वाले गुगुल, धनु व मीन जौ और चने व मकर एवं कुंभ राशि वाले तिल को आहुति के रूप में होलिका में अर्पण करें।

शुभ नक्षत्रों के युग्म संयोग में 15 को होली

रंगोत्सव का पर्व होली उदय व्यापिनी चैत्र कृष्ण प्रतिपदा में मनाया जाता है। होली चैत्र कृष्ण प्रतिपदा 15 मार्च शनिवार को मनाई जाएगी। इस दिन दो शुभ नक्षत्रों का युग्म संयोग रहेगा। होली के दिन सुबह 7:46 बजे तक उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र फिर हस्त नक्षत्र पूरे दिन विद्यमान रहेगा।

दोपहर 12.55 बजे के बाद वृद्धि योग रहेगा। शास्त्रोचित मत से होली में लाल, पीला व गुलाबी रंग का प्रयोग शुभ माना जाता है। रंगों के आगे द्वेष और बैर की भावनाएं फीकी पड़ जाती है।

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'फर्जी दस्तावेज से भारत में प्रवेश पर होगी कड़ी कार्रवाई', लोकसभा में पेश हुआ इमिग्रेशन बिल, विपक्ष ने किया विरोध

Dainik Jagran - National - March 11, 2025 - 8:05pm

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। सरकार ने विपक्ष के एतराजों के बीच मंगलवार को आव्रजन और विदेशियों विषयक अधिनियम विधेयक 2025 लोकसभा में पेश कर दिया। इस विधेयक के जरिए सरकार आव्रजन और विदेशियों से संबंधित विभिन्न सेवाओं को सुव्यवस्थित करने के साथ देश में उनके प्रवेश, निकास और ठहरने की व्यवस्था से जुड़े नियमों का कठोरता से पालन कराना सुनिश्चित करेगी।

विपक्षी दलों ने विधेयक का यह कहते हुए विरोध किया कि वर्तमान सरकार असहमति के स्वरों और विचारों को बर्दाश्त नहीं करती इसलिए ऐसे लोगों के आने और जाने को रोकने के लिए यह बिल लेकर आई है। विधेयक में कई विधायी खामियां बताते हुए विपक्ष ने इसे संसदीय समिति को भेजे जाने की मांग भी की।

गृह राज्यमंत्री ने विपक्ष की आशंकाओं को किया खारिज

वहीं विधेयक पेश करते हुए गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने विपक्ष की आशंकाओं को खारिज करते हुए कहा कि केंद्र सरकार के पास इस विषय पर कानून लाने के लिए संघ सूची के तहत सभी अधिकार हैं। गृह राज्यमंत्री ने कहा कि इस विधेयक का उद्देश्य राष्ट्रीय सुरक्षा को बढ़ाना, आव्रजन प्रक्रियाओं को नियंत्रित करना और प्रवेश तथा ठहरने की शर्तों का उल्लंघन करने वाले विदेशियों पर सख्त दंड लगाना है।

'पर्यटकों का स्वागत, पर शांति और संप्रभुता कायम रहे'

उन्होंने कहा कि पर्यटकों का भारत में स्वागत है पर यह सुनिश्चित करना भी सरकार की जिम्मेदारी है कि देश की शांति और संप्रभुता कायम रहे। विधेयक के मसौदे में साफ कहा गया है कि राष्ट्रीय सुरक्षा, संप्रभुता या राष्ट्र की अखंडता के लिए खतरा पैदा करने वाले किसी भी विदेशी को भारत में प्रवेश या रहने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

विदेशियों के लिए पंजीकरण अनिवार्य

इसमें प्रवाधान किया गया है कि भारत आने पर विदेशियों के लिए पंजीकरण अनिवार्य होगा। साथ ही उनकी आवाजाही, नाम परिवर्तन और संरक्षित तथा प्रतिबंधित क्षेत्रों में प्रवेश रोक रहेगा। शैक्षणिक संस्थानों, अस्पतालों और नर्सिंग होम को अपने यहां पढ़ने या इलाज कराने आने वाले विदेशी नागरिकों की सूचना आव्रजन अधिकारियों को देनी होगी।

नियमों के उल्लंघन पर भारी जुर्माने का प्रावधान

नियमों के उल्लंघन पर भारी जुर्माना का प्रावधान किया गया है जिसमें बिना वैध पासपोर्ट या वीजा भारत आने पर पांच साल तक की सजा और पांच लाख रुपए तक का जुर्माना हो सकता है। जाली दस्तावेजों का इस्तेमाल करने वाले विदेशियों को दो से सात साल की जेल की और एक से लेकर 10 लाख रुपए तक का जुर्माना हो सकता है।

अवैध प्रवेश पर तीन साल की जेल, 3 लाख का जुर्माना

वहीं वीजा शर्तों का उल्लंघन करने या प्रतिबंधित क्षेत्रों में अवैध प्रवेश करने वालों विदेशियों को तीन साल की जेल तथा तीन लाख रुपए आर्थिक दंड भरना पड़ेगा। वैध दस्तावेजों के बगैर विदेशियों की भारत यात्रा कराने के लिए ट्रेवल एजेंटों को भी विधेयक के जरिए उत्तरदायी बनाते हुए ऐसा करने वालों को दंडि़त किया जाएगा तथा पांच लाख रुपए तक का जुर्माना लगाने का प्रावधान किया गया है।

आव्रजन अधिकारियों को विशेष अधिकार
  • इसके साथ ही किसी विदेशी को भारत में प्रवेश की इजाजत नहीं दी जाती है तो उसे तत्काल वापस बाहर निकाल भेजने की जिम्मेदारी भी ट्रेवल एजेंसी की होगी। विधेयक में आव्रजन अधिकारियों को बिना वारंट के व्यक्तियों को गिरफ्तार करने का अधिकार भी देता है जिसके जरिए केंद्र सरकार विदेशियों की भारत में आवाजाही को नियंत्रित कर सकती है।
  • बिल में किसी व्यक्ति को देश छोड़ने से रोकने का भी प्रावधान है। ऐसा किसी जांच या प्रवर्तन एजेंसी द्वारा व्यक्ति की उपस्थिति की जरूरत को देखते हुए किया जा सकता है। भारत में विदेशियों का प्रवेश, रहना और बाहर निकलना वर्तमान में विदेशी पंजीकरण अधिनियम 1939 तथा विदेशी अधिनियम 1946 द्वारा शासित हैं।
विधेयक का विपक्ष ने किया विरोध, क्या बोले सांसद मनीष तिवारी?
  • विपक्ष ने इस विधेयक के सख्त प्रावधानों की चर्चा करते हुए इसे लोकसभा में पेश किए जाने का विरोध किया। कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा कि यह विधेयक संविधान के कई प्रावधानों और विभिन्न कानूनों का उल्लंघन करता है। इसमें सबसे अहम संविधान प्रदत्त व्यक्ति के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन होता है।
  • तिवारी ने कहा कि सरकार प्रस्तावित कानून के प्रावधानों का उपयोग उन लोगों को प्रवेश से वंचित करने के लिए कर सकती है जो वर्तमान सत्तारूढ़ व्यवस्था की विचारधारा के साथ तालमेल नहीं रखते हैं।
टीएमसी के सांसद सौगत रॉय ने कही ये बात

कांग्रेस सांसद ने विधायी कसौटी पर विधेयक के खरा नहीं उतरने की बात उठाते हुए इसे संसदीय समिति के पास भेजे जाने की वकालत भी की। तृणमूल कांग्रेस के सांसद सौगत रॉय ने भी तिवारी की चिंताओं से सहमति जताते हुए कहा कि प्रस्तावित कानून विभिन्न क्षेत्रों में बाहर से आने वाली प्रतिभाओं को रोक सकता है।

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इस मामले में भारत से आगे निकला यूक्रेन, SIPRI की नई रिपोर्ट ने दुनिया को चौंकाया; रूस की बढ़ेगी टेंशन

Dainik Jagran - National - March 11, 2025 - 8:02pm

पीटीआई, नई दिल्ली। रूस के साथ लंबे समय तक युद्ध में उलझा यूक्रेन वर्ष 2020-24 के दौरान हथियारों का आयात करने वाला दुनिया का सबसे बड़ा देश था। वर्ष 2015-19 के आंकड़ों की तुलना में यूक्रेन के आयात लगभग 100 गुना बढ़ गए। इंडिपेंडेंट ग्लोबल थिंकटैंक- स्टाकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) की एक नई रिपोर्ट में यह बात सामने आई है।

भारत के आयात में कमी आई

रिपोर्ट के अनुसार, इस अवधि (2020-24) के दौरान भारत हथियारों का आयात करने वाला दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश था। बड़ी मात्रा में हथियारों का आयात 'चीन और पाकिस्तान दोनों से कथित खतरों' को दर्शाते हैं। हालांकि, वर्ष 2015-19 और वर्ष 2020-24 के बीच भारत के आयात में 9.3 प्रतिशत की कमी आई।

यूरोपीय देशों के हथियार आयात में 155 फीसदी का इजाफा

रिपोर्ट में कहा गया है कि यूरोपीय देशों के हथियारों के आयात में इसी अवधि के बीच 155 प्रतिशत की वृद्धि हुई, क्योंकि यूक्रेन पर रूस के आक्रमण और अमेरिकी विदेश नीति के भविष्य पर अनिश्चितता के मद्देनजर कई देश यूक्रेन के साथ खड़े हो गए।

सोमवार को सिपरी द्वारा प्रकाशित अंतरराष्ट्रीय ‌आर्म्स ट्रांसफर पर नए आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका ने वैश्विक हथियारों के निर्यात की अपनी हिस्सेदारी को 43 प्रतिशत तक बढ़ा दिया, जबकि रूस के निर्यात में 64 प्रतिशत की गिरावट आई।

35 देशों ने यूक्रेन को भेजे हथियार

यूक्रेन-रूस युद्ध फरवरी, 2022 में शुरू हुआ और वर्तमान में इसे हल करने और क्षेत्र में स्थायी शांति लाने के लिए कुछ देशों द्वारा प्रयास किए जा रहे हैं। युद्ध शुरू होने के बाद कम से कम 35 देशों ने यूक्रेन में हथियार भेजे।

सिपरी ने एक बयान में कहा, ''यूक्रेन 2020-24 की अवधि में प्रमुख हथियारों का दुनिया का सबसे बड़ा आयातक बन गया। इसके आयात 2015-19 की तुलना में लगभग 100 गुना बढ़े।'' यूक्रेन को 2020-24 में वैश्विक हथियारों के आयात का 8.8 प्रतिशत मिला।

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'उपभोक्ता निकाय के सदस्यों को बिना देरी करें वेतन का भुगतान', सभी राज्य सरकारों को सुप्रीम कोर्ट का निर्देश

Dainik Jagran - National - March 11, 2025 - 7:37pm

पीटीआई, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सभी राज्य सरकारों को निर्देश दिया है कि वे मौजूदा नियमों के अनुसार राज्य और जिला उपभोक्ता निवारण निकायों के अध्यक्षों एवं सदस्यों के वेतन और भत्ते का तुरंत भुगतान करें।

जस्टिस अभय एस. ओका और जस्टिस एन. कोटिश्वर सिंह की पीठ ने केंद्र सरकार को भी उपभोक्ता संरक्षण (राज्य आयोग और जिला आयोग के अध्यक्ष और सदस्यों के वेतन, भत्ते एवं सेवा की शर्तें) मॉडल नियम, 2020 में संशोधन करने पर भी विचार करने का निर्देश दिया।

सभी राज्य सरकारों को आदेश

पीठ उपभोक्ता मंचों के सदस्यों के वेतन और सेवा शर्तों से संबंधित याचिका पर सुनवाई कर रही थी। बहरहाल, पीठ ने कहा, ''हम सभी राज्य सरकारों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश देते हैं कि इन मामलों में उठाए गए विभिन्न विवादों पर बिना किसी पूर्वाग्रह के मौजूदा राज्य नियमों के अनुसार वेतन और भत्ते अध्यक्षों/सदस्यों को तुरंत दिए जाएं।''

अगर निर्णय नहीं लिया तो अनुच्छेद 142 का करेंगे इस्तेमाल

कोर्ट ने कहा कि यदि भारत सरकार की ओर से संभावित संशोधन पर कोई निर्णय नहीं लिया जाता है तो वह ''संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत शक्ति का प्रयोग करने पर विचार करेगी।'' गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने पांच मार्च के आदेश में कहा था, ''यदि कुछ राज्य सरकारों द्वारा अनुपालन नहीं किया जाता है तो संबंधित पक्ष विद्वान न्यायमित्र को इस आशय का एक नोट सौंपने के लिए स्वतंत्र हैं ताकि कोर्ट उचित आदेश पारित कर सके।''

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रुकावट की राजनीति! खारिज हो चुका प्रस्ताव फिर संसद में पेश, कांग्रेस और टीएमसी ने दिया नोटिस, क्या बोले उप सभापति?

Dainik Jagran - National - March 11, 2025 - 7:32pm

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। चुनाव आयोग की सफाई, पुराने आंकड़ों की सच्चाई के बावजूद विपक्ष ने यह तय कर लिया है कि मतदाता फोटो पहचान पत्र (इपिक) को लेकर संसद में मामला गर्म ही रखा जाए। एक दिन पहले ही इस पर चर्चा की मांग खारिज की जा चुकी है लेकिन मंगलवार को विपक्ष के कई सदस्यों की ओर से फिर वही प्रस्ताव पेश किया गया।

राज्यसभा मे उपसभापित हरिवंश ने याद दिलाया कि जो प्रस्ताव एक बार खारिज हो चुका है उसे दोबारा क्यों दिया जा रहा है। फिर खारिज हुआ और फिर हंगामा। राज्यसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष की ओर इपिक के मुद्दे पर चर्चा कराने के लिए 21 सदस्यों ने नोटिस दिए थे। इनमें प्रमोद तिवारी, अजय माकन, डोला सेन, प्रियंका चतुर्वेदी आदि शामिल थी।

काले कपड़े पहनकर जताया विरोध

डीएमके सांसदों ने एनईपी को न अपनाने पर समग्र शिक्षा के तहत तमिलनाडु को मिलने वाली राशि पर लगाई गई रोक के मुद्दे पर भी 267 पर चर्चा की मांग की, वह विरोध स्वरूप मंगलवार को काले कपड़े पहनकर सदन में आए थे। एमडीएमके सांसद वाइको ने परिसीमन के मुद्दे पर चर्चा की मांग का नोटिस दिया था। विपक्षी सांसदों ने सोमवार को भी इपिक को लेकर नियम 267 के तहत राज्यसभा में चर्चा की मांग की थी।

मंत्री रवनीत की अनुपस्थिति पर असहज दिखा सत्ता पक्ष
  • राज्यसभा में मंगलवार को सत्ता पक्ष उस समय असहज दिखा, जब सदन में केंद्रीय मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू का नाम उप सभापति पुकारते रहे लेकिन वो राज्यसभा में नहीं थे। इस पर विपक्ष ने सत्तापक्ष की चुटकी ली।
  • विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने जेपी नड्डा को घेरा और कहा कि कल वे विपक्ष को सदन के नियमों व कामकाज को लेकर प्रशिक्षण दिलाने की बात कर रहे थे, लेकिन ये प्रशिक्षण की जरूरत उन्हें ज्यादा है। वे अपने लोगों और मंत्री को प्रशिक्षण दिलाए, कि वे समय पर सदन में आए।
जब खरगे को मांगनी पड़ी माफी

राज्यसभा में मंगलवार को खरगे को तब माफी मांगनी पड़ी, जब उन्होंने उपसभापति हरिवंश की ओर ही इशारा करते हुए कह गए कि हम आपको ठोकने की पूरी तैयारी से आए है। इसके बाद तो सदन के नेता जेपी नड्डा ने खरगे के इस रवैए पर आपत्ति जताई और कहा कि उन्हें माफी मांगनी चाहिए।

इसके बाद तो खरगे को भी अपनी गलती का अहसास हुआ व कहा कि उनका मकसद उपसभापति को ठोकने का नहीं था बल्कि सरकार को ठोकने का था। गलती के लिए वह माफी मांगते है।

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Bihar New Airport: बिहार के इस जिले को मिलेगा नया एयरपोर्ट! केंद्र को लेटर लिखेगी नीतीश सरकार

Dainik Jagran - March 11, 2025 - 7:26pm

राज्य ब्यूरो, पटना। सरकार बेगूसराय में भी एयरपोर्ट (Airport In Begusarai) के निर्माण को ले केंद्र सरकार को लिखेगी। इस बारे में निर्णय नागर एवं विमानन मंत्रालय को करना है।

प्रभारी मंत्री विजय चौधरी ने मंगलवार को आए एक ध्यानाकर्षण के जवाब में दी। कुंदन कुमार, मुरारी मोहन झा, सूर्यकांत पासवान तथा शंकर सिंह द्वारा ध्यानाकर्षण लाया गया था।

प्रभारी मंत्री ने कहा कि बेगूसराय में अभी 4000 फीट लंबाई वाले रनवे का एयरपोर्ट है। इसकी चौड़ाई 150 फीट है। हम केंद्रीय वित्त मंत्री से आग्रह करेंगे कि बिहार में वह ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट को विकसित करने में मदद करें।

'बेगूसराय में ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट की जरूरत'

ध्यानाकर्षण में यह कहा गया कि राज्य में समग्र एवं समावेशी विकास की प्रतिबद्धता के मद्देनजर बेगूसराय जिले में ग्रीडफील्ड एयरपोर्ट की आवश्यकता है।

बेगूसराय. राज्य का एक महत्वपूर्ण औद्योगिक, व्यापारिक तथा सांस्कृतिक केंद्र है। यहां बरौनी रिफाइनरी, पेप्सी प्लांट, सुधा डेयरी, थर्मल पावर स्टेशन व अन्य बड़े उद्योग स्थापित हैं। पर्यटन के लिहाज से सिमरिया धाम जैसा धार्मिक स्थल है।

एयर कनेक्टिविटी पर नीतीश सरकार का फोकस

गौरतलब है कि राज्य की नीतीश सरकार एयर कनेक्टिविटी को बेहतर करने पर कार्य कर रही है। इसी साल पेश किए गए बजट में इस बात की झलक भी दिखी। नीतीश सरकार ने 7 नए एयरपोर्ट के निर्माण का प्रपोजल बजट में रखा। नए एयरपोर्ट के निर्माण से प्रदेश की आर्थिक व्यवस्था में व्यापक सुधार देखने को मिलेगा।

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राज्य सरकार का एयर कनेक्टिविटी पर जोर
  • राज्य सरकार ने अपने बजट में एयर कनेक्टिविटी को प्राथमिकता दी है।
7 नए एयरपोर्ट का निर्माण
  • सम्राट चौधरी ने 7 शहरों में एयरपोर्ट बनाने की घोषणा की।
पूर्णिया एयरपोर्ट का उद्घाटन
  • पूर्णिया एयरपोर्ट से अगले 3 महीने में उड़ान शुरू होगी।
राजगीर और अन्य एयरपोर्ट का विकास
  • राजगीर, सुल्तानगंज और रक्सौल एयरपोर्ट को विकसित किया जाएगा।
छोटे हवाई अड्डों का सुधार
  • भागलपुर, मुंगेर, मधुबनी, सहरसा आदि छोटे हवाई अड्डों का विकास उड़ान योजना के तहत किया जाएगा।

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